ईरान और इज़राइल के बीच भले ही अब संघर्षविराम लागू हो चुका हो, लेकिन भारत ने वहां फंसे अपने नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए ‘ऑपरेशन सिंधु’ को जारी रखा है। इसी क्रम में आर्मेनिया की राजधानी येरेवन से एक विशेष विमान गुरुवार देर रात नई दिल्ली पहुंचा, जिसमें ईरान से निकाले गए 173 भारतीय नागरिक सवार थे।
अब तक इस ऑपरेशन के तहत 19 विशेष उड़ानों के माध्यम से कुल 4,415 भारतीयों को स्वदेश लाया जा चुका है। इनमें से 3,597 नागरिक ईरान और 818 इज़राइल से निकाले गए हैं। इनमें तीन उड़ानें भारतीय वायुसेना द्वारा संचालित की गईं।
छात्राओं ने जताया सरकार के प्रति आभार
ईरान से सुरक्षित लौटने वाले छात्रों ने भारत सरकार के प्रयासों की सराहना की है। एक छात्रा ने कहा कि उन्हें वहां बेहतरीन सुविधाएं प्रदान की गईं और उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी व विदेश मंत्रालय को इसके लिए धन्यवाद दिया। एक अन्य छात्रा ने बताया कि सरकार ने हर संभव सहायता की और जहां जो मदद हो सकती थी, वह की गई।
हालात सुधरने पर दूतावास ने रोका पंजीकरण
संघर्षविराम के मद्देनजर ईरान स्थित भारतीय दूतावास ने निकासी के लिए नागरिकों का नया पंजीकरण बंद कर दिया है। सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर दूतावास ने जानकारी दी कि अब निकासी प्रक्रिया धीरे-धीरे समाप्त की जाएगी। हालांकि, सरकार हालात पर लगातार नजर बनाए हुए है और अगर भविष्य में जोखिम बढ़ता है, तो रणनीति को दोबारा परखा जाएगा।
जब बढ़ने लगा तनाव, तब शुरू हुआ अभियान
गौरतलब है कि भारत ने यह ऑपरेशन उस समय शुरू किया जब ईरान और इज़राइल के बीच मिसाइल और ड्रोन हमलों में तेजी आ गई थी। नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिए भारत ने मशहद (ईरान), येरेवन (आर्मेनिया) और अशगबत (तुर्कमेनिस्तान) से विशेष चार्टर्ड विमानों की व्यवस्था की। बीते शुक्रवार को ईरान ने विशेष रूप से भारत के लिए अपने हवाई क्षेत्र से तीन चार्टर्ड फ्लाइट्स को उड़ान भरने की अनुमति दी, जिसके बाद भारत सरकार ने ‘ऑपरेशन सिंधु’ को गति दी।
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