राजस्थान घमासान पर राहुल का बड़ा बयान: गहलोत-पायलट दोनों हमारे लिए बहुमूल्य

राजस्थान में मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और सचिन पायलट के बीच छिड़ी जुबानी जंग पर राहुल गांधी का बयान सामने आया है। भारत जोड़ो यात्रा के दौरान इंदौर में प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल ने कहा कि गहलोत और पायलट दोनों ही पार्टी के लिए बहुमूल्य (असेट्स) हैं। राजस्थान की सियासी गतिविधियों का भारत जोड़ो यात्रा पर कोई असर नहीं पड़ेगा। जैसे-जैसे यात्रा आगे बढ़ेगी, उसका समर्थन और बढ़ता ही जाएगा। 

इंदौर में राहुल ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की। चालीस मिनट तक उन्होंने पत्रकारों से 17 सवालों के जवाब दिए। इस दौरान उन्होंने राजस्थान के सियासी घमासान पर कहा कि मामला पार्टी नेतृत्व देख रहा है। मैं तो सिर्फ इतना ही कह सकता हूं कि गहलोत और पायलट दोनों ही हमारे लिए असेट्स हैं। भारत जोड़ो यात्रा जब राजस्थान जाएगी तो उसका और भी भव्य स्वागत होगा। इसे लेकर मुझे कोई चिंता नहीं है। 

BJP के करोड़ों रुपये मेरी इमेज बिगाड़ने पर खर्च 
राहुल गांधी ने आरोप लगाया कि भाजपा मेरी छवि बिगाड़ने के लिए हजारों करोड़ रुपये खर्च कर रही है। लोगों को लगता है कि इससे मुझे नुकसान होगा। इसके बाद भी मुझे लगता है कि इसका फायदा ही हो रहा है। सच्चाई मेरे पास है और इसे छिपाया नहीं जा सकता। भाजपा जितना पैसा मेरी इमेज खराब करने में लगाएगी, उतनी ही मुझे ताकत मिलेगी। इस तरह के हमले मेरे लिए गुरु हैं। इससे मुझे पता चलता है कि मैं सही दिशा में चल रहा हूं। 

मुझे डर था कि चल सकूंगा या नही
राहुल अब तक दो हजार से अधिक किमी चल चुके हैं। इस दौरान कौन-सा क्षण उनके लिए सबसे खास था? इस पर राहुल ने कहा कि यात्रा की प्लानिंग एक साल पहले की थी। जब मैं 25-26 साल का था, तब इसके बारे में सोचा था। यात्रा के दौरान घुटने की पुरानी इंजुरी में फिर दर्द उठ गया। मुझे डर था कि चल सकूंगा या नहीं। लेकिन, इस डर पर जीत हासिल कर ली। एक बात और कहना चाहूंगा कि एक लड़की मिली थी रास्ते में। उसने कहा था कि मैं भी आपके साथ चल रही हूं। मम्मी-पापा ने इजाजत नहीं दी है, तब भी आप यह ही समझना कि मैं आपके साथ हूं। यह कुछ ऐसे क्षण थे, जिसने मुझे ताकत दी। मैंने डर पर जीत हासिल की और दो हजार से अधिक किमी चल सका।  

बेरोजगारी दूर करने के लिए क्या है फार्मूला
राहुल से पूछा गया कि बेरोजगारी और महंगाई उनके एजेंडे में है, लेकिन इन्हें दूर कैसे करेंगे? राहुल बोले कि बेरोजगारी को दूर करने के लिए छोटे सेक्टरों पर काम करना पड़ेगा। नोटबंदी और जीएसटी जैसे कदमों ने अन्य सेक्टरों पर बोझ बढ़ा दिया है। इस वजह से बेरोजगारी बढ़ गई है। ओवरऑल दो-तीन बड़े उद्योगपति ही सारे काम कर रहे हैं। यह कंपनियां हर सेक्टर में मोनोपोली बना रही है। यह खत्म होना चाहिए।  

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