राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ प्रमुख मोहन भागवत का अयोध्या दौरा

राष्ट्रीय स्वयं संघ की पांच दिवसीय शारीरिक वर्ग शाखा का शुभारंभ सोमवार सुबह ध्वजारोहण के साथ हुआ। पांच दिवसीय शारीरिक वर्ग में शामिल होने के लिए संघ के 45 प्रांत इकाईयों के करीब 500 पदाधिकारी व कार्यकर्ता अयोध्या पहुंचे हैं। पहले दिन इन कार्यकर्ताओं को शारीरिक प्रशिक्षण दिया गया। संघ प्रमुख मोहन भागवत भी शारीरिक वर्ग में शामिल होने के लिए मंगलवार को अयोध्या पहुंचेंगे। वे दो दिनों तक अयोध्या में प्रवास करने के साथ-साथ रामलला का दर्शन कर मंदिर निर्माण की प्रगति देखेंगे।

इससे पूर्व सोमवार को राष्ट्रीय सेवक संघ की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के शारीरिक वर्ग की शाखा का शुभारंभ विश्व हिंदू परिषद के मुख्यालय कारसेवकपुरम में हुआ। बारिश की वजह से खुले मैदान की बजाए टेंट के नीचे स्वयं सेवकों को प्रशिक्षण दिया गया। शारीरिक वर्ग के पहले दिन ध्वजारोहण कर संघ गायन हुआ। परिचय सत्र में सभी कार्यकर्ताओं का परिचय लिया गया। 

संघ की शारीरिक वर्ग शाखा में शामिल होने सर कार्यवाह दत्तात्रेय होसबोले, पूर्व सर कार्यवाह कृष्ण गोपाल सहित कई बड़े पदाधिकारी पहुंचे हैं। संघ प्रमुख मोहन भागवत भी मंगलवार सुबह तक अयोध्या पहुंच जाएंगे। वे 19, 20 अक्तूबर को शाखा का प्रतिनिधित्व करेंगे। इस दौरान देश भर से आए संघ के कार्यकर्ताओं को संबोधित कर संघ के विचार और उनके उद्देश्य की विस्तृत जानकारी देंगे। 

शारीरिक वर्ग में दंड शिक्षा सहित किसी भी परिस्थिति में देश की सुरक्षा में स्वंय सेवक अपनी अहम भूमिका निभा सकें इसके लिए उन्हें तैयार किया जाएगा। जानकारी के अनुसार 5 वर्ष के बाद शारीरिक वर्ग अभ्यास का प्रशिक्षण होता है। जिसमें संगठनात्मक चर्चा होती है साथ ही भविष्य की कार्ययोजनाएं तैयार होती हैं। यह शाखा कार्यकर्ता निर्माण और उनके विकास के लिए आयोजित की जाती है। मूल रूप से इस शाखा में जो फिजिकल एक्टिविटी है। उसका प्रशिक्षण किया जाता है। यह सामान्य कार्यकर्ताओं के लिए नहीं बल्कि देश भर से कार्यकर्ताओं में चयन कर इस वर्ग में शामिल किया जाता है। कारसेवकपुरम में चल रहे वर्ग में मीडिया, पुलिस व नेताओं के प्रवेश पर रोक लगाई गई है।

मंदिर निर्माण की प्रगति से भी रू-ब-रू हो रहे स्वयंसेवक
संघ के शारीरिक वर्ग में शामिल होने के लिए कई प्रांतों से स्वयं सेवक पहुंचे हैं। करीब 100 पदाधिकारी अपने परिवार के साथ पहुंचे हैं। ये स्वयं सेवक वर्ग का हिस्सा बनकर खुश तो हैं ही सबसे ज्यादा खुशी इन्हें रामलला के दर्शन कर प्राप्त हो रही है। साथ ही ये मंदिर निर्माण की प्रगति से भी रू-ब-रू हो रहे हैं। वर्ग में बंगाल, बिहार, उत्तरप्रदेश, राजस्थान, पंजाब सहित विभिन्न प्रांतों से स्वयं सेवक पहुंचे हैं। बिहार के एक स्वयं सेवक ने बताया कि राममंदिर निर्माण कार्य का दर्शन कर मन निहाल हो उठा है। सदियों के संकल्प की सिद्धि होता देख रहे हैं यह जीवन का परम सौभाग्य है।

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