पटना। पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस की पत्नी सुनैना देवी उर्फ सुनैना पशुपति और स्वर्गीय रामचंद्र पासवान की पत्नी शोभा देवी को पटना हाईकोर्ट से बड़ी राहत मिली है। न्यायमूर्ति संदीप कुमार की एकलपीठ ने उनके खिलाफ दर्ज आपराधिक मामले में आगे की कार्रवाई पर रोक लगाते हुए प्राथमिकी दर्ज कराने वाली महिला को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है।
यह आदेश उस समय पारित किया गया जब याचिकाकर्ताओं की ओर से दायर आपराधिक रिट याचिका पर सुनवाई हुई। उनकी ओर से अधिवक्ता राजकुमार ने अदालत को बताया कि यह प्राथमिकी स्व. रामविलास पासवान की पूर्व पत्नी राजकुमारी देवी द्वारा खगड़िया जिले के अलौली थाना में दर्ज कराई गई है।
प्राथमिकी में यह आरोप लगाया गया है कि सुनैना देवी और शोभा देवी ने शिकायतकर्ता के कमरे का सामान बाहर फेंक दिया और उनके बेडरूम व बाथरूम को ताले से बंद कर दिया। इसके जवाब में याचिकाकर्ताओं ने दलील दी कि शिकायतकर्ता और रामविलास पासवान के बीच 1981 में ही विधिक रूप से तलाक हो चुका था। ऐसे में शिकायतकर्ता का न तो पारिवारिक संपत्ति पर कोई अधिकार बनता है और न ही उस घर पर, जो पैतृक संपत्ति है।
इसके अलावा, याचिका में यह भी कहा गया कि प्राथमिकी में शिकायतकर्ता के हस्ताक्षर हैं जबकि वह अशिक्षित हैं और आमतौर पर अंगूठा लगाती हैं। इससे शिकायत की विश्वसनीयता पर भी सवाल उठते हैं।
इन तथ्यों पर विचार करते हुए हाईकोर्ट ने प्राथमिकी की कार्रवाई पर फिलहाल रोक लगाते हुए नोटिस जारी किया है। मामले की अगली सुनवाई 11 नवंबर को निर्धारित की गई है।