उत्तर प्रदेश में परिषदीय और माध्यमिक शिक्षा विभाग के अंतर्गत संचालित विद्यालयों में मंगलवार से नए शैक्षिक सत्र की शुरुआत हो गई। हालांकि पठन-पाठन की व्यवस्था को पूरी तरह से सुचारु होने में अभी कुछ समय लग सकता है। परिषदीय स्कूलों में जहां एक ओर विद्यालयों के आपसी विलय की प्रक्रिया जारी है, वहीं दूसरी ओर शिक्षकों के स्थानांतरण और कार्यभार ग्रहण जैसी प्रक्रियाएं भी समानांतर चल रही हैं।
सत्र के पहले दिन कई जिलों में शिक्षकों और अधिकारियों ने छात्रों का पारंपरिक रूप से तिलक लगाकर और पुष्प वर्षा के साथ स्वागत किया। स्कूलों को रंग-बिरंगे गुब्बारों और फूलों से सजाया गया था। कक्षा 1 से 3 तक के विद्यार्थियों को नई किताबें भी वितरित की गईं। बच्चों के स्वागत के अवसर पर मध्यान्ह भोजन में विशेष व्यंजन जैसे हलवा और खीर भी परोसे गए।
हालांकि, कई जिलों में विद्यालय विलय की प्रक्रिया अब भी प्रगति पर है, जिससे शिक्षण कार्य की नियमितता प्रभावित हो सकती है। वहीं, सामान्य तबादलों के अंतर्गत आए शिक्षकों की नियुक्ति और कार्यमुक्ति का कार्य भी जारी है, जिससे शिक्षण सत्र को व्यवस्थित करने में समय लगना स्वाभाविक है।
इसके साथ ही मंगलवार से पूरे प्रदेश में ‘स्कूल चलो अभियान’ की भी शुरुआत हुई। पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देने के लिए ‘एक पेड़ मां के नाम’ कार्यक्रम का भी शुभारंभ किया गया। दूसरी ओर, माध्यमिक विद्यालयों में कई शिक्षक अब भी तबादले से संबंधित अंतिम निर्णय की प्रतीक्षा कर रहे हैं, क्योंकि विभाग की ओर से इस संबंध में कोई स्पष्ट दिशा-निर्देश अब तक नहीं जारी किया गया है।