ग्रामीण अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के साथ रोजगार के अवसर पैदा करने के लिए जम्मू-कश्मीर सरकार ने 75 गांवों को टूरिस्ट स्पॉट के रूप में विकसित करने का फैसला लिया है। इन गांवों को मिशन यूथ के तहत विकसित किया जाएगा। मिशन यूथ से प्रदेश के 20 जिलों में 100 गांवों के आवेदन आए हैं, जिसमें वह 75 गांवों का चयन करेगा। इन गांवों में होम स्टे, ट्रैक एक्सप्लोरेशन, साहसिक खेल, फिल्म शूटिंग जैसे सुविधाएं मिलेंगी।
मिशन यूथ के तहत ऐतिहासिक, प्राकृतिक नजारों, एडवेंचर खेल, होम स्टे, इको टूरिज्म, कला संस्कृति, धार्मिक और फिल्म शुटिंग के लिए उपयुक्त गांवों को चुना गया है। हर जिले से पांच से सात गांवों के आवेदन आए हैं। अब मिशन यूथ इन आवेदनों की जांच कर गांवों को टूरिस्ट स्पॉट के रूप में तैयार करेगा।
जम्मू जिले के अंबारां में इको टूरिज्म, पुरातत्व, धार्मिक महत्व है, वहीं घरद्मना में इको- टूरिज्म, मथवार में धार्मिक, सुरुईंसर में इका- टूरिज्म, एडवेंचर स्पोर्ट्स, झज्जर कोटली में इको- टूरिज्म की अपार संभावना है। इस तरह उधमपुर, राजोरी, रियासी, सांबा, कठुआ, डोडा, किश्तवाड़, रामबन और कश्मीर संभाग के जिलों के गांवों को चिह्नित किया गया है। पर्यटन गांवों में होम स्टे की सुविधा को शुरू किया जाएगा, ताकि पर्यटक इन गांवों की लोक संस्कृति से जुड़ाव महसूस कर सकें। मिशन यूथ इसमें युवाओं को भी शामिल कर रोजगार के अवसर तैयार करेगा।
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गांवों में शूटिंग के लिए आर्थिक मदद
सरकार इन गांवों में फिल्मों की शूटिंग के लिए 8 से 10 लाख रुपये की विशेष मदद देगी। साथ ही स्थानीय कलाकारों और पारंपरिक कलाओं को बढ़ावा देने के लिए 2-2 लाख रुपये की आर्थिक मदद दी जाएगी। इससे गांवों में पर्यटन को बढ़ावा मिलने के साथ युवाओं को रोजगार मिलेगा।
हमारे पास सभी जिलों से 100 से अधिक गांवों के आवेदन आए हैं। इन गांवों में से 75 गांवों को चुना जाएगा। इन गांवों में ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए हर तरह की सुविधा होगी।
पर्यटन गांव
सांबा जिला — चम्याल, घगवाल, मोहरगढ़, नड, परमंडल और उत्तर वाहिनी।
उधमपुर– बसंतगढ़, चुलना, डूडू, लहर-इंचा, मानतलाई, पचौंड।
डोडा– बस्ती, बटोत, धारा, खलैनी, लंचन, मोउंडा, नोरी हंगा।