टोंक. प्रदेश सहित जिलों के (कोटा व करौली को छोडक़र) राजकीय जिला चिकात्सालय में राजस्थान मेडिकल रिलीफ सोसायटी के माध्यम से संचालित की जा रही एएलएस (एडवांस लाईफ सपोर्ट) एम्बुलेंस वाहनों का संचालन व प्रबंधन जीवीके ईएमआरआई द्वारा किया जाएगा। इसके अनुसार अब108 आपातकालीन एम्बुलेंस सेवा के अधीन होगा। इसके लिए चिकित्सा स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग की ओर से जारी दिशा निर्देशों के अनुसार एएलएस एम्बुलेस को हेण्ड ओवर करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।

ऐसा होने पर टोंक जिले के गंभीर व आपातकालीन मरीजों को इलाज के लिए तत्काल रेफर करने के बाद एम्बुलेंस के लिए निजी वाहन का सहारा लेना पड़ेगा। जिसके लिए राशी खर्च करना पड़ेगी। प्रमुख चिकित्सा अधिकारी डॉ बीएल मीणा ने बताया कि जिला सआदत अस्पताल में राजस्थान मेंडिकल रिलीफ सोसायटी के अधीन एएलएस(एडवांस लाईफ सपोर्ट) एम्बुलेंस का संचालन किया जा रहा था।
लेकिन अब उच्चाधिकारियों द्वारा मिले विभागीय पत्र में जारी दिशा-निर्देशों के अनुसार जिले की एक मात्र एएलएस एम्बुलेंस का संचालन१०८ के अधीन होगा। डॉ मीणा ने बताया कि विभागीय पत्र के अनुसार कमेठी का गठन कर वर्तमान स्थिती में एएलएस एम्बुलेंस को सेवा प्रदाता को सौंपने की कार्रवाही की गई है।
सआदत अस्पताल को मिले 100 गद्देटोंक. गत दिनों जिला कलक्टर चिन्मयी गोपाल द्वारा जिला मुख्यालय पर स्थित सआदत अस्पताल व एमसीएच के किए दौरे के दौरान खराब गद्दों व इनकी कमी की जानकारी मिली थी। जिला कलक्टर के प्रयास से एक भामाशाह ने अस्पताल के लिए 100 गद्दे भेंट किए है।सआदत अस्पताल के पीएमओ डॉ बीएल मीणा ने बताया कि अस्पताल में पलंग के कई गद्दे पुराने व खराब हो गए थे, ऐसे में कलक्टर की पहल पर भामाशाह विजेन्द्र गोयल द्वारा अस्पताल को 100 गद्दे उपल्ब्ध करवाए गए है। आवश्यकता के अनुसार वार्ड इंचार्ज को इन गद्दों को सौंपा जाएगा। जिससे मरीजों को सुविधा मिल सकेगी।