मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंत्रिपरिषद के समक्ष गृह, कारागार, होमगार्ड, सचिवालय प्रशासन और नियुक्ति एवं कार्मिक विभागों की कार्य योजना पर हुए प्रस्तुतिकरण को देखा और अफसरो को आगामी 100 दिनों ने अयोध्या जनपद में स्पेशल टास्क फोर्स (एसटीएफ) की इकाई गठित करने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि स्पेशल पुलिस ऑपरेशन टीम (स्पॉट) की नई टीम के लिए आगामी 100 दिन में ऊर्जावान, दक्ष और समर्पित कार्मिकों का चयन किया जाए। केंद्रीय पुलिस बल/भारतीय सेना के सहयोग से इनका प्रशिक्षण कराया जाना चाहिए। इन्हें स्नाइपर ट्रेनिंग भी दिलाई जाए, साथ ही आत्मविश्वास बढ़ाने के लिए विशेष एडवेंचर कोर्स भी कराया जाना चाहिए।
यूपी 112 के रिस्पॉन्स टाइम को और कम करते हुए 10 मिनट तक लाने के प्रयास किये जाएं। पुलिस, अभियोजन और संगठन के लिए चरणबद्ध रूप से सिंगल विंडो व्यवस्था लागू की जाए। कानून-व्यवस्था के सुदृढ़ीकरण के क्रम में जनपद जालौन, मिर्जापुर और बलरामपुर में एक-एक नई महिला पीएसी बटालियन का गठन किया जाना चाहिए। इस बाबत प्रस्ताव तैयार करें।
जांच व अन्वेषण की व्यवस्था को और सुदृढ़ करने के क्रम में केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो की तर्ज पर उत्तर प्रदेश में यूपी स्पेशल पुलिस एस्टेब्लिशमेंट एक्ट तैयार कराया जाए। 100 दिनों के भीतर इस दिशा में कार्यवाही आगे बढ़ाएं।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि बीते पांच वर्षों में उत्तर प्रदेश ने सुदृढ़ कानून-व्यवस्था का एक मॉडल प्रस्तुत किया है। प्रदेश से संगठित अपराध समाप्त हो चुका है। अवैध रूप से अर्जित 2081 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की जा चुकी है। आगे भी माफिया, अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई जारी रहे। 25 करोड़ प्रदेशवासियों की सुरक्षा और सम्मान के लिए हमारी पुलिस 24×7 मुस्तैद रहे।
पिछली सरकारों ने शरारतपूर्ण ढंग से पीएसी की 54 कंपनियों को समाप्त कर दिया था। हमने उनको पुनर्जीवित किया। नई बटालियन भी शुरू कीं।
15 दिन के अंदर क्रियान्वयन की योजना प्रस्तुत करेंगे
मुख्यमंत्री योगी ने निर्देश दिए कि सभी कैबिनेट मंत्री अब फील्ड में जाएंगे। कैबिनेट मंत्रियों की अध्यक्षता में 18 मंडलों के लिए 18 टीमें गठित कर 18 सप्ताह के लिए कार्यक्रम तैयार किया जा रहा है। यह टीमें हर मंडल में 72 घंटे का प्रवास करेंगी। अलग-अलग जनपदों का भ्रमण करेंगी। लोगों से मिलेंगी। व्यवस्था की पड़ताल करेंगी, संभावनाओं की परख करेंगी तत्पश्चात 75 जिलों के नोडल अधिकारी इन टीमों की रिपोर्ट लेकर 15 दिन के अंदर क्रियान्वयन की योजना प्रस्तुत करेंगे।
नियुक्ति एवं कार्मिक विभाग ने गत वर्षों में पूरी पारदर्शिता से बिना भेदभाव के दक्ष युवाओं को सेवायोजित किया है। सरकारी नौकरियों में भ्रष्टाचार का कोई भी स्थान नहीं है। भर्ती के साथ-साथ प्रशिक्षण पर आधुनिकीकरण पर भी जोर दिया जाना चाहिए।