प्रदेश सरकार के कौशल विकास राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) सहित आठ भाजपा नेताओं के रेल रोकने के मुकदमे में मंगलवार यानी (कल) फैसला आएगा। सिविल जज सीनियर डिवीजन (फास्ट ट्रैक कोर्ट-1) मयंक जायसवाल की अदालत में मामला लंबित है।
आरोपी पूर्व विधायक उमेश मलिक के अधिवक्ता श्यामवीर सिंह ने बताया कि निर्णय आने से पहले नियमानुसार सोमवार को आठों आरोपियों की तरफ से धारा 437 सीआरपीसी के तहत 25-25 हजार की जमानत में अदालत में दाखिल किए हैं।
बता दें कि वर्ष 2012 में तत्कालीन केंद्र सरकार की नीतियों के खिलाफ मंत्री सहित आठ भाजपा नेताओं पर मुजफ्फरनगर रेलवे स्टेशन पर रेल रोक कर प्रदर्शन करने का आरोप है।