राजस्थान के उदयपुर जिले में बीते 29 जून को टेलर कन्हैयालाल की सरेआम गला रेत कर हत्या कर दी गई थी। मामले में मुख्य अभियुक्त मोहम्मद रियाज अत्तारी और गौस मोहम्मद समेत करीब नौ लोगों को गिरफ्तार किया गया था। एनआईए ने आरोपियों की गैरमौजूदगी में ही उनके खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मामलों की विशेष अदालत में चार्जशीट पेश किया और दावा किया कि सभी आरोपित कट्टरपंथी तब्लीगी समाज से जुड़े हैं।
बता दें कि कन्हैयालाल की हत्या को अंजाम देने के लिए इन लोगों ने पहले इंटरनेट मीडिया पर कट्टरपंथियों का ग्रुप बनाया और मोहम्मद रियाज तथा गौस मोहम्मद ने हत्याकांड को अंजाम दिया। जबकि अन्य आरोपियों ने उनका साथ दिया। एनआईए ने चार्जशीट में दावा किया किया कि यह साधारण अपराध नहीं, बल्कि सोची-समझी साजिश थी, जिसका उद्देश्य उदयपुर ही नहीं, बल्कि एक लोकतांत्रिक देश के लोगों में भय का माहौल पैदा करना था।
नुपुर शर्मा के समर्थन में डाला था पोस्ट…
बीजेपी प्रवक्ता रहीं नुपुर शर्मा के समर्थन में कन्हैयालाल दर्जी के बेटे ने उनके मोबाइल फोन पर एक पोस्ट इंटरनेट मीडिया पर वायरल की थी, जिसको लेकर कट्टरपंथी युवाओं ने कन्हैयालाल को धमकाया। कन्हैयालाल के माफी मांगे जाने के बाद भी उसे धमकी मिलती रही तो कन्हैयालाल ने धानमंडी थाने में मामला दर्ज कराया था। पुलिस ने इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया और दोनों पक्षों में समझौता कराकर मामले को शांत करा दिया।
28 जून को हुई थी हत्या…
कन्हैयालाल को धमकी मिलने का सिलसिला जारी रहा। धमकियां नहीं थमने पर दो सप्ताह तक कन्हैयालाल ने अपनी दर्जी की दुकान नहीं खोली और पंद्रह दिन बाद गत 28 जून को जब वह अपनी दुकान पर पहुंचा तो वहां पहुंचे गौस मोहम्मद और मौहम्मद रियाज ने धारदार हथियार से उसकी गला रेतकर हत्या कर दी। यहीं नहीं, उन्होंने वारदात का लाइव वीडियो और उसके बाद धमकी भरा एक अन्य वीडियो इंटरनेट मीडिया पर वायरल करते हुए अन्य लोगों को भी इसी तरह सबक सिखाने की धमकी दी थी।
मामले की अगली सुनवाई…
मामला गंभीर होने पर इसकी जांच एनआईए को सौंप दी गई थी। इसके बाद एनआईए ने मुख्य आरोपियों की मदद करने वाले मोहसिन खान, आसिफ मोहम्मद, मोहम्मद मोहसिन, वसीम अली, फराज शेख उर्फ पपला, जावेद सहित कुल सात अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तार किया था। ये सभी आरोपित अजमेर की हाई सिक्योरिटी जेल में कैद हैं। बताया गया कि 3 जनवरी को जब आरोपितों को अदालत में पेश किया जाएगा, तभी उनको चार्जशीट की कॉपी दी जाएगी। वहीं, कन्हैयालाल साहू के बड़े बेटे यश ने अपने पिता की हत्यारों को जब तक फांसी नहीं हो जाती, तब तक नंगे पैर रहने का प्रण लिया है।