मणिपुर हिंसा: खरगे बोले- नफरत की राजनीति, सत्ता का लालच जिम्मेदार

मणिपुर में भड़की ताजा हिंसा को लेकर कांग्रेस ने भाजपा पर निशाना साधा है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने आरोप लगाया कि इस स्थिति के लिए भारतीय जनता पार्टी की नफरत और बांटने की राजनीति के साथ सत्ता के लिए उसका लालच जिम्मेदार है। उन्होंने यह भी कहा कि पूर्वोत्तर के इस राज्य में सभी पक्षों को संयम बरतना चाहिए। 

खरगे ने ट्वीट में कहा, “मणिपुर जल रहा है। भाजपा ने समुदायों के बीच दरार पैदा की है और इस खूबसूरत राज्य की शांति को भंग कर दिया है।” उन्होंने आरोप लगाया, “भाजपा की नफरत और विभाजन की राजनीति तथा सत्ता का लोभ इस समस्या के लिए जिम्मेदार है।” 

मणिपुर में क्यों भड़की हिंसा?
मैतेई समुदाय को अनुसूचित जनजाति (एसटी) श्रेणी में शामिल करने की मांग का विरोध करने के लिए छात्रों के एक संगठन द्वारा आहूत ‘आदिवासी एकता मार्च’ में हिंसा भड़क गई थी। इसके बाद से ही मणिपुर में हालात सामान्य नहीं हो पाए हैं। गौरतलब है कि आदिवासी आंदोलन के दौरान हिंसा को लेकर मणिपुर के आठ जिलों में बुधवार को कर्फ्यू लगा दिया गया और पूरे पूर्वोत्तर राज्य में मोबाइल इंटरनेट सेवाएं निलंबित कर दी गईं।

मणिपुर में भेजी गई सेना-आरएएफ
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने मणिपुर के मुख्यमंत्री एन बीरेन सिंह बातचीत की और वहां आदिवासी आंदोलन के दौरान भड़की हिंसा के बारे में जानकारी ली। केंद्र सरकार मणिपुर के हालात पर करीब से नजर रख रही है। उसने पूर्वोत्तर राज्य के हिंसा प्रभावित इलाकों में तैनाती के लिए त्वरित कार्य बल (आरएएफ) के दल भेजे हैं। आरएएफ दंगे जैसे हालात को काबू में करने के लिए दक्ष बल है।

अधिकारियों ने बताया कि गृह मंत्री ने मणिपुर के मुख्यमंत्री से बातचीत की। मुख्यमंत्री ने उन्हें जमीनी हालात तथा शांति बहाल करने के लिए उठाए गए कदमों की जानकारी दी। संवेदनशील स्थानों पर सेना तथा असम रायफल्स के जवानों को पहले ही तैनात किया जा चुका है। इन दो बलों के अलावा पर्याप्त संख्या में अर्धसैनिक बल के जवान हिंसा प्रभावित इलाकों में तैनाती के लिए मणिपुर में मौजूद हैं।

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