धर्म छिपाकर शादी करने और गर्भपात कराने वाले भाजपा नेता ताबिश असगर पार्टी से निष्कासित

शाहजहांपुर की युवती से धर्म छिपाकर शादी करने और गर्भपात कराने वाले भाजपा नेता ताबिश असगर को जिलाध्यक्ष ने पार्टी से निष्कासित कर दिया है। इसके अलावा पांच अन्य मुस्लिम कार्यकर्ताओं को भी पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाया है। जिलाध्यक्ष का कहना है कि आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों का पार्टी से कोई लेना-देना नहीं है। ये लोग धोखाधड़ी करके भाजपा सदस्य बन गए होंगे, इसलिए उन्हें पार्टी से निष्कासित किया गया है।

हिंदू रीति-रिवाज से गाजियाबाद में की शादी
शाहजहांपुर निवासी कारोबारी की बेटी की मुलाकात चार साल पहले विशाल राणा नाम के युवक से हुई थी। उसने खुद को नौगांवा सादात के मोहल्ला गुला तालाब निवासी बताया था। आरोप है कि विशाल ने खुद को राजपूत बताया था। कुछ ही समय बाद दोनों की दोस्ती प्यार में बदल गई। विशाल बनकर गुमराह करने वाले आरोपी ताबिश असगर ने 22 फरवरी 2023 को हिंदू रीति-रिवाज से गाजियाबाद में शादी कर ली। 

इस्लाम धर्म कबूल करने के लिए बनाया दबाव
शक होने पर युवती ने उसके धर्म के बारे में पूछा तो आरोपी ने भविष्य खराब होने का हवाला देकर उसे चुप कर दिया। कुछ महीने बाद ताबिश ने युवती पर इस्लाम धर्म कबूल करने के लिए दबाव बनाया। आरोप है कि मुस्लिम धर्म नहीं अपनाने पर उसका गर्भपात करा दिया। जान से मारने की धमकी दी। विवाद होने पर युवती अपने मायके चली गई। ताबिश माफी मांग कर दोबारा से युवती को साथ ले आया। लेकिन, कुछ दिन बाद फिर धर्म परिवर्तन करने के लिए दबाव बनाने लगा।

छह मुस्लिम कार्यकर्ताओं को पार्टी से निष्कासित
इस मामले में कमिश्नरेट गौतम बुधनगर की सेक्टर-113 थाना पुलिस ने ताबिश के खिलाफ मारपीट, धमकी, गर्भपात कराने और उत्तर प्रदेश विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया। बाद में पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। धर्मांतरण के मामले में भारतीय जनता पार्टी की किरकिरी होने पर जिलाध्यक्ष उदयगिरि गोस्वामी ने ताबिश असगर समेत छह मुस्लिम कार्यकर्ताओं को पार्टी से निष्कासित कर दिया है। इसमें नौगांवा सादात के ही रहने वाले अली रजा, वसीम परवेज, गुलाम अस्करी भूट्टू, निसार हैदर, काशिफ रौनी भी शामिल हैं। ताबिश असगर खुद को भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा का सदस्य बताता था। इन दिनों उसके कई भाजपा नेताओं के साथ फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं।

ताबिश के भाई ने भी बोला था झूठ
शादी में ताबिश का भाई वसीम अख्तर भी मौजूद था, उसने खुद को वासु राणा बताया था। शादी में युवती के माता-पिता और रिश्तेदार भी शामिल हुए थे। आरोप है कि शादी के बाद विशाल युवती को कोर्ट मैरिज के बहाने इलाहाबाद हाईकोर्ट लेकर गया। जहां दस्तावेजों को देखने से पता चला कि विशाल का असली नाम ताबिश असगर है। तभी ताबिश की असलियत का पता चला था।

पुलिस में शिकायत की भनक लगते ही भाग गया था ताबिश 
पीड़िता का आरोप है कि पुलिस में शिकायत करने की बात कही तो ताबिश घर से भाग गया। कई दिन तक लापता रहा। उसने मामले में गुमशुदगी दर्ज कराई। जिसके बाद पुलिस ने ताबिश को बरामद कर लिया था। अमरोहा जिला अध्यक्ष भाजपा उदयगिरि गोस्वामी ने बताया कि आपराधिक प्रवृत्ति के लोगों का भारतीय जनता पार्टी से कोई लेना-देना नहीं है। ये लोग धोखाधड़ी से पार्टी के सदस्य बन गए होंगे, इसलिए उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है।

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