त्रिवेंद्र रावत- आज तक समझ नहीं पाया क्यों गई कुर्सी, सीएम तीरथ पर दिया ये बड़ा बयान

देहरादून. इसी महीने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पद से हटाए गए त्रिवेंद्र सिंह रावत का दर्द गुरुवार को उस समय सामने आ गया जब वह अपने विधानसभा क्षेत्र डोईवाला में थे. समर्थकों के बीच रावत ने कहा कि उन्हें आज तक समझ में नहीं आया कि उन्हें हटाया क्यों गया है. पूर्व सीएम ने इशारो-इशारों में खुद को अभिमन्यु बताया और कहा कि उनके साथ छल हुआ है. उन्होंने आगे कहा कि राजनीति में तो ये सब घटनाएं होती रहती हैं लेकिन चार साल मैंने मुख्यमंत्री के नाते और 5 साल पहले विधायक के नाते राष्ट्रीय सचिव के नाते, नमामि गंगे के नाते, झारखंड प्रभारी के नाते, उत्तर प्रदेश के सह प्रभारी के नाते काम किया लेकिन राजनीति इस काली सुरंग से साफ निकल कर आया हूं.

हरिद्वार में कोविड-19 के पालन के मुद्दे पर पूर्व सीएम ने कहा कि मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत नए हैं, लिहाजा उन्हें अंदाजा नहीं रहा होगा कि वह क्या कह रहे हैं. गौरतलब है मुख्य सचिव ने उत्तराखंड हाई कोर्ट में कहा है कि कुंभ में कोविड नेगटिव रिपोर्ट की अनिवार्यता का सख्ती से पालन होगा.

डोईवाला विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत होली मिलन समारोह में शिरकत करने आए पूर्व सीएम त्रिवेंद्र सिंह आज अलग ही अंदाज़ में नज़र आये. उनका कहना कि जनता भी नहीं समझ पा रही है कि उन्हें क्यों हटाया गया. लोगों के मन मे कई सवाल हैं. मंच पर अभिमन्यु का उदारहण देते हुए उनके साथ हुए छल का जिक्र किया.

कांग्रेस प्रवक्ता गरिमा दसौनी कहती है कि लगता है पूर्व सीएम त्रिवेंद्र रावत के मन में उन्हें हटाने की टीस है, यही वजह है कि उनका दर्द छलक रहा है. वहीं बीजेपी प्रवक्ता सुरेश जोशी ने कहा कि उनके कार्यकाल में जीरो टॉलरेंस का नारा रहा और ये भाग्य की बात है कि कौन कब तक रहता है और कौन कब तक नहीं।

त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि उनकी कैबिनेट द्वारा लिए गए फैसले मील का पत्थर साबित होंगे. जनता के लिए पिछले 4 साल में उन्होंने जो भी काम किए, वह अपने विवेक से किए और उसका फल आने वाले समय में जनता को जरूर मिलेगा.

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