बाहुबली विधायक अब्बास अंसारी दो साल एक माह छह दिन बाद जिला जेल पचलाना के हाईसिक्योरिटी बैरक से आजाद होकर अपने घर रवाना हो गया। जेल से बाहर आते ही अपने बेटे से मुलाकात की। अब्बास की रिहाई चित्रकूट के गैंगस्टर न्यायालय से जमानत मिलने के बाद की गई। जिला जेल में रिहाई आदेश पहुंचने के बाद जेल प्रशासन ने अब्बास को रिहा कर दिया। अब्बास की जिला जेल में हाईसिक्योरिटी बैरक में सीसीटीवी कैमरों व ड्रोन कैमरे से निगरानी की जा रही थी।
चित्रकूट की जिला जेल में बंद विधायक अब्बास अंसारी को यहां की जिला जेल में स्थानंतरित किया गया था। 14 फरवरी 2023 को यह निर्णय शासन व चित्रकूट के कारागार प्रशासन ने लिया था। इस आदेश के बाद चित्रकूट की जिला जेल से यहां लाया गया। अब्बास 15 फरवरी 2023 की अपराह्न कड़ी सुरक्षा के साथ जिला जेल में लाया गया। जेल पहुंचने के बाद जेल प्रशासन ने अब्बास को हाईसिक्योरिटी बैरक में रखा। अब्बास के पहुंचने पर प्रशासन व जेल प्रशासन के अधिकारी भी मौजूद रहे। शुक्रवार को चित्रकूट के गैंगस्टर न्यायालय से रिहाई आदेश के आधार पर जेल प्रशासन ने विधायक अब्बास अंसारी की रिहाई कर दी। जुमे के दिन हुई रिहाई पर अब्बास ने खुदा का शुक्रिया जताया। अब्बास की पत्नी निखत व भाई अब्बास को लेने पहुंचा।
वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से होती थी पेशी
न्यायालय में चल रहे मामलों में अब्बास की पेशी जेल से ही वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से होती थी। सुरक्षा कारणों के चलते ऐसा किया जा रहा था।
बॉडी वियर कैमरे के साथ रहते थे सुरक्षाकर्मी
हाईसिक्योरिटी बैरक में अब्बास की सुरक्षा में लगे कर्मी बॉडी वियर कैमरों से लैस रहते थे। अब्बास की हर गतिविधि पर जेल प्रशासन की कड़ी नजर थी।
रोजा रख रहा था अब्बास
बाहुबली विधायक अब्बास ने अपना वक्त खुदा की इबादत व पुस्तकों को दिया। रमजान का माह होने के कारण इस बार भी अब्बास जेल में रोजे रख रहा था और पांचों वक्त की नमाज अदा करता था। रोजे के अलावा भी वह प्रतिदिन नमाज पढ़ता था और अपना समय पुस्तकें पढ़कर काटता था। टेलीफोन के माध्यम से सप्ताह में दो बार निर्धारित दिनों में उसकी बातचीत होती थी।
पिता के फातिहा में सुप्रीम कोर्ट की अनुमति के बाद हुआ था शामिल
अपने पिता मुख्तार अंसारी की मृत्यु के बाद विधायक अब्बास पिता के जनाजे में शामिल नहीं हो सका था। सुप्रीम कोर्ट से अनुमति नहीं मिली थी, लेकिन फातिहा में जाने के लिए अब्बास को अनुमति मिल गई थी। ऐसी स्थिति में वह फातिहा कार्यक्रम में हिस्सा लेने के लिए कड़ी सुरक्षा के बीच निर्धारित समय के लिए भेजा गया था।
चित्रकूट के गैंगस्टर न्यायालय से जमानत मिलने के बाद बंदी अब्बास को रिहा कर दिया गया है। उन्हें 15 फरवरी 2023 को चित्रकूट से यहां की जेल में शिफ्ट किया गया था। – विजय विक्रम सिंह, जेल अधीक्षक