दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने राजधानी में झुग्गी झोपड़ियों को लेकर बड़ा फैसला लिया है। उन्होंने स्पष्ट किया है कि अब किसी भी झुग्गी को तब तक नहीं हटाया जाएगा, जब तक वहां रहने वालों को स्थायी आवास उपलब्ध नहीं करा दिया जाता। इस संबंध में रेलवे, डीडीए सहित सभी संबंधित एजेंसियों को निर्देश जारी कर दिए गए हैं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यदि परिस्थितियां बनीं, तो दिल्ली सरकार इस मसले को लेकर न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाने को तैयार है। उन्होंने उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना से भी इस मुद्दे पर चर्चा की है।
“हर परिवार को मिलेगा मकान”
रेखा गुप्ता ने कहा कि सरकार की प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि हर झुग्गीवासी को सम्मानजनक और सुरक्षित आवास मिले। अगर जरूरत पड़ी तो सरकार मौजूदा नीतियों में बदलाव करने से भी पीछे नहीं हटेगी।
यह बातें उन्होंने ‘विकास भी, हरियाली भी’ विषय पर आयोजित एक संगोष्ठी के दौरान कही। मुख्यमंत्री ने राजधानी के समग्र विकास के लिए बेहतर स्कूल, अस्पताल, सड़कें, जल-सीवर व्यवस्था, सौर ऊर्जा और यमुना पुनर्जीवन जैसे क्षेत्रों पर ध्यान केंद्रित करने की बात कही।
महिलाओं को रात की पाली में काम की अनुमति
मुख्यमंत्री ने श्रम कानूनों की समीक्षा करते हुए 1954 के उस प्रावधान की आलोचना की, जिसमें महिलाओं को रात्रिकालीन शिफ्ट में कार्य करने से रोका गया था। उन्होंने कहा कि अब यह निर्णय महिलाओं की इच्छा पर निर्भर करेगा और सरकार उनकी स्वतंत्रता में हस्तक्षेप नहीं करेगी। साथ ही, उन्होंने यह भी आश्वस्त किया कि दिल्ली सरकार कार्यस्थलों पर महिला कर्मचारियों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगी।