फर्जी वोटिंग याचिका खारिज, राहुल पर भाजपा का तीखा हमला

सुप्रीम कोर्ट ने 2024 महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में कथित फर्जी मतदान के आरोपों पर दायर याचिका को खारिज कर दिया है। अदालत ने माना कि इसमें कोई ठोस आधार नहीं है और इसे न्यायिक प्रक्रिया का दुरुपयोग कहा।

इस फैसले के बाद भाजपा ने कांग्रेस और राहुल गांधी पर निशाना साधा। भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने राहुल गांधी पर आरोप लगाया कि वह संवैधानिक संस्थाओं को बदनाम कर रहे हैं और चुनावी प्रक्रिया पर झूठ फैलाते हैं। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी मोहब्बत की दुकान की बात करते हैं, लेकिन हकीकत में “झूठ का शोरूम” चला रहे हैं।

भाटिया ने याद दिलाया कि याचिकाकर्ता पहले भी 95 सीटों पर गड़बड़ी का दावा कर चुके थे, जिसे अदालत ने पूरी तरह खारिज कर दिया था। उन्होंने कहा कि जनता सच्चाई के साथ खड़ी है, जबकि राहुल गांधी भ्रम और अराजकता फैलाने की राजनीति कर रहे हैं।

‘जमानत पर हैं और संस्थाओं पर आरोप लगा रहे’ – भाजपा
भाजपा ने यह भी कहा कि भ्रष्टाचार मामलों में जमानत पर चल रहे राहुल गांधी को देश की संस्थाओं पर निराधार आरोप लगाने से बचना चाहिए। गौरव भाटिया ने आरोप लगाया कि 40 घंटे तक झूठा प्रचार करके चुनाव आयोग की साख पर सवाल उठाए गए, जिससे लोकतंत्र कमजोर करने की कोशिश हुई। उन्होंने पूछा कि इसके लिए जिम्मेदारी कौन लेगा और क्या राहुल गांधी देश से माफी मांगेंगे।

भाटिया ने कहा कि लंबे समय तक गलत जानकारी प्रसारित किए जाने से जनता का विश्वास प्रभावित होता है और यह सीधा लोकतंत्र पर प्रहार है। भाजपा का आरोप है कि कांग्रेस लगातार संस्थाओं को कमजोर करने का अभियान चला रही है, जबकि जनता सच्चाई को भली-भांति जानती है।

अमित मालवीय का हमला
मतदाता डेटा विवाद पर भाजपा आईटी सेल प्रमुख अमित मालवीय ने भी राहुल गांधी पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि जिस संस्था के आंकड़ों के आधार पर कांग्रेस ने निर्वाचन आयोग पर आरोप लगाए, वही संस्था अब मान चुकी है कि उसके आंकड़े गलत थे। मालवीय ने इसे शर्मनाक बताते हुए कहा कि राहुल गांधी को अपनी “घुसपैठिया बचाओ यात्रा” रोककर जनता से माफी मांगनी चाहिए।

भारतीय अर्थव्यवस्था पर भाजपा का दावा
इसी बीच, भाजपा ने भारतीय अर्थव्यवस्था की मजबूती का हवाला भी दिया। पार्टी प्रवक्ता डॉ. सैयद जफर इस्लाम ने कहा कि जब दुनिया महंगाई और आर्थिक संकट से जूझ रही है, तब भारत की अर्थव्यवस्था स्थिरता के साथ आगे बढ़ रही है। उन्होंने बताया कि अमेरिका और ब्रिटेन जैसे देशों में महंगाई दर भारत से कहीं अधिक है।

जफर इस्लाम के अनुसार, वर्तमान में भारत में खाद्य महंगाई -1.6% पर है, यानी खाने-पीने की चीजें सस्ती हुई हैं। उन्होंने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था घरेलू खपत पर आधारित है, इसलिए वैश्विक स्तर पर टैरिफ संबंधी चुनौतियों का असर देश की विकास दर पर नगण्य होगा।

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