जम्मू-कश्मीर के वैष्णो देवी मार्ग पर मंगलवार को हुई भगदड़ में मृतकों की संख्या 35 तक पहुंच गई है, जबकि कई लोग लापता हैं और कुछ का इलाज अस्पताल में चल रहा है। इस हादसे को लेकर जम्मू-कश्मीर के उपमुख्यमंत्री सुरेंद्र चौधरी ने माता वैष्णो देवी श्राइन बोर्ड को जिम्मेदार ठहराया। चौधरी ने सवाल उठाया कि खराब मौसम में यात्रा क्यों जारी रहने दी गई और इस पर श्राइन बोर्ड के CEO और राज्य के LG को जवाब देना चाहिए।
डिप्टी सीएम ने इसे “बड़ी आपदा” बताया और पीएम तथा केंद्रीय गृहमंत्री से प्रभावितों के लिए बड़ा पैकेज देने की मांग की। उन्होंने कहा कि श्राइन बोर्ड के अधिकारी हाई अलर्ट होने के बावजूद यात्रा रोकने में विफल रहे और यदि दोषी पाए जाते हैं तो उनके खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। चौधरी ने इसे साजिश बताते हुए उच्च स्तरीय जांच की मांग की और कहा कि एफआईआर दर्ज की जानी चाहिए।
होटल एसोसिएशन के अध्यक्ष राकेश वज़ीर ने प्रभावितों की मदद के लिए 2-4 दिनों तक मुफ्त ठहरने की सुविधा देने की घोषणा की। उन्होंने फंसे श्रद्धालुओं को सहायता केंद्र से संपर्क करने के लिए नंबर 9596002222 दिया।
कटरा के स्थानीय लोग हादसे को श्राइन बोर्ड की लापरवाही मानते हुए प्रदर्शन कर रहे हैं और वीवीआईपी कल्चर के कारण बोर्ड को बंद करने की मांग भी उठाई जा रही है।
मौसम विभाग ने बताया कि जम्मू में 115 साल का रिकॉर्ड टूट गया है। मंगलवार से बुधवार सुबह तक 24 घंटे में 380 मिमी बारिश दर्ज हुई, जबकि 1988 में 270.4 मिमी बारिश का रिकॉर्ड था। भारी बारिश के कारण कई इलाके तबाह हो गए और राहत-बचाव कार्यों में भारतीय सेना को तैनात करना पड़ा। पड़ोसी राज्य पंजाब के कुछ हिस्सों में भी बाढ़ का खतरा बढ़ गया है।