चक्रवात ‘यास’: ओडिशा-बंगाल में मंडरा रहा खतरा, NDRF की तैयारी पूरी

ताउते के बाद अब भारत पर चक्रवात यास का खतरा मंडरा रहा है। मौसम विभाग के मुताबिक बंगाल और ओडिशा सीधे तौर पर प्रभावित होंगे तो उसके साथ पूर्वी भारत के दूसरे राज्यों पर भी असर होगा। बंगाल के 20 जिलों को संवेदनशील घोषित किया गया है तो ओडिशा के तटीय जिले अतिसंवेदनशील हैं। जगतसिंह पुर जिले में लोग सुरक्षित ठिकानों की तरफ जा रहे हैं। इस संबंध में सीएम नवीन पटनायक ने कहा कि कोरोना के बीच यास का खतरा प्रदेश पर है। कोरोना के साथ साथ यास से निपटने के लिए सरकार तैयार है। 

26 मई को बंगाल- ओडिशा को पार करेगा चक्रवात
मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक ने बताया कि चक्रवाती तूफान यास के बहुत तीव्र चक्रवाती तूफान की तरह 26 मई की दोपहर उत्तर ओडिशा-पश्चिम बंगाल तटों को बालासोर के आसपास पारादीप और सागर द्वीप के बीच पार करने की संभावना है।

यास से निपटने की तैयारी

  • यास की दस्तक से पहले ओडिशा के चार जिलों को हाई अलर्ट पर रखा गया है। इसके साथ ही एनडीआरएफ ने भी तैयारी पूरी की है। 
  • चक्रवात यास को देखते हुए निचले और संवेदनशील क्षेत्रों में रहने वाले लोगों ने दीघा, पूर्वी मिदनापुर में बहुउद्देशीय चक्रवात आश्रय में जाना शुरू कर दिया है।
  • हमारी टीमें लगातार संवेदनशील इलाकों से लोगों को निकालने में लगी हुई हैं। चिकित्सा दल भी चक्रवात आश्रयों का दौरा करेंगे: सहायक कमांडेंट, द्वितीय बटालियन-एनडीआरएफ, दीघा में
  • पश्चिम बंगाल के लिए चक्रवात यास हेल्पलाइन नंबर, 033 2252 9893, 1800 345 5505 है।

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