भारत ने इंग्लैंड को दूसरे टेस्ट मैच में हरा दिया है. लॉर्ड्स टेस्ट के आखिरी दिन गेंदबाजों के दम पर टीम इंडिया ने पासा पलटते हुए अंग्रेजों को दो सेशन भी नहीं खेलने दिया और 151 रन से हरा दिया. इस जीत के साथ ही पांच टेस्ट की सीरीज में भारतीय टीम ने 1-0 से बढ़त ले ली है. पहला टेस्ट ड्रॉ रहा था. भारत ने जीत के लिए 272 रन का लक्ष्य रखा था. इसके जवाब में इंग्लैंड की टीम 120 रन पर ही सिमट गई.
बुमराह और शमी ने नई गेंद संभाली और पहले दो ओवरों में दोनों सलामी बल्लेबाजों को पवेलियन भेजकर भारत को शानदार शुरुआत दिलाई. बुमराह की लेग साइड पर जा रही गेंद रॉरी बर्न्स (शून्य) के बल्ले का बाहरी किनारा लेकर हवा में लहरा गई. इसे मोहम्मद सिराज ने दौड़ लगाकर कैच किया. शमी ने अगले ओवर में डॉम सिब्ली (शून्य) को विकेट के पीछे कैच कराया. इंग्लैंड का स्कोर हो गया दो विकेट पर एक रन. शमी जल्द ही भारत को हसीब हमीद का विकेट भी दिला देते लेकिन स्लिप में रोहित शर्मा ने उनका आसान कैच छोड़ दिया.
भारत को हालांकि यह गलती बहुत महंगी नहीं पड़ी क्योंकि हमीद केवल नौ रन बना पाए. इशांत ने उन्हें अंदर आती गेंद पर पगबाधा कर दिया. सिराज के अगले ओवर में रूट से बल्ले को चूमकर गेंद ऋषभ पंत के दस्तानों से होते हुए चार रन के लिये पहुंची. बेयरस्टो के खिलाफ इशांत की विश्वसनीय अपील अंपायर ने ठुकरा दी थी लेकिन डीआरएस में फैसला भारत के पक्ष में गया. यह विकेट चायकाल से ठीक पहले मिला. इससे स्कोर चार विकेट पर 67 रन हो गया.
कप्तान जो रूट भारत की जीत की राह में सबसे बड़ी बाधा थे. लेकिन जसप्रीत बुमराह ने टी ब्रेक के ठीक बाद उन्हें पहली स्लिप में विराट कोहली के हाथों कैच करा दिया. रूट ने 33 रन बनाए. जोस बटलर भी जल्दी ही चले जाते लेकिन कोहली उनका कैच लपक नहीं पाए. उन्होंने मोईन अली के साथ मिलकर करीब 16 ओवर तक बैटिंग की. मोहम्मद सिराज ने लगातार दो गेंद में मोईन अली (13) और सैम करन (0) को निपटाया.
इससे पहले भारत की दूसरी पारी का आकर्षण शमी (70 गेंदों पर नाबाद 56) और बुमराह (64 गेंदों पर नाबाद 34) के बीच नौवें विकेट के लिये 89 रन की अटूट साझेदारी रही. भारत ने दूसरे सत्र में केवल नौ गेंदें खेली और इस बीच 12 रन जोड़कर अपनी दूसरी पारी आठ विकेट पर 298 रन पर समाप्त घोषित की. भारत ने अपनी पहली पारी में 364 रन बनाये थे जिसके जवाब में इंग्लैंड ने 391 रन बनाकर 27 रन की बढ़त हासिल की थी. भारत ने सुबह छह विकेट पर 181 रन से आगे खेलना शुरू किया तथा शमी और बुमराह के करिश्माई प्रदर्शन से पहले सत्र में दो विकेट गंवाकर 105 रन जोड़े. इससे इंग्लैंड की मुश्किलें बढ़ गयी जो सुबह पंत (46 गेंदों पर 22 रन) और इशांत (24 गेंदों पर 16 रन) को जल्दी आउट करने के बाद बेहतर स्थिति में दिख रहा था.
भारतीय टीम एक समय आठ विकेट पर 209 रन बनाकर 200 रन की बढ़त हासिल करने की स्थिति में भी नहीं दिख रही थी. शमी और बुमराह ने हालांकि सहजता से बल्लेबाजी की और अपने शॉट से कप्तान विराट कोहली सहित अपने साथी खिलाड़ियों को खासा रोमांचित किया. सबसे महत्वपूर्ण बात यह थी कि वे बिना किसी दबाव के खेले. ऐसे में शमी के फ्लिक और बुमराह के ड्राइव इंग्लैंड के खिलाड़ियों की पेशानी पर बल डाल रहे थे. रूट किस कदर दबाव में थे इसका अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि उन्होंने क्षेत्ररक्षण बिखेर दिया लेकिन इससे भारतीय बल्लेबाजों को ही मदद मिली और उन्होंने आसानी से एक दो रन भी चुराये.
शमी ने धीमी पड़ती पिच पर स्पिनर मोइन अली को निशाने पर रखा. शमी ने इस स्पिनर की लगातार गेंदों पर चौका और मिडविकेट पर 92 मीटर लंबा छक्का जड़कर अपने टेस्ट करियर का दूसरा अर्धशतक पूरा किया. इसके लिये उन्होंने 57 गेंदें खेली. बुमराह ने इसके बाद अपने करियर का पिछला सर्वोच्च स्कोर (28 रन) पार किया. सुबह भारतीय टीम का दारोमदार पंत पर था लेकिन वह ओली रॉबिन्सन की गेंद पर विकेटकीपर जोस बटलर को आसान कैच दे बैठे. उनके साथ कल के दूसरे अविजित बल्लेबाज इशांत को भी रॉबिन्सन ने पगबाधा आउट किया.