फ़िल्म कलाकार फर्रुख जाफर का निधन, शनिवार को होगी अंत्येष्टि

किसी की बड़ी अम्मी, किसी की भाभी, हिन्दी सिनेमा की एक जानी-मानी शख्सियत और सबकी बेगम फर्रुख जाफर साहिबा नहीं रहीं। शुक्रवार की शाम सात बजे उन्होंने लखनऊ के सहारा अस्पताल में अंतिम सांस लीं। वे 89 वर्ष की थीं, कुछ दिन पहले तबीयत खराब होने, सांस लेने में दिक्कत होने और सर्दी-जुकाम व जकड़न होने पर उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उनकी दो बेटियां हैं। एक शाहीन जो विशेष खंड में रहती हैं और दूसरी वरिष्ठ पत्रकार व लेखक महरू जाफर हैं। बेगम उन्हीं के पास रहती थीं। महरू जाफर ने बताया कि उन्हें शनिवार को सुबह 10.30 बजे मल्लिका जहां कब्रिस्तान एशबाग में दफन किया जाएगा। 

विविध भारतीय एनएसडी और फिर सेल्युलाइड तक
फर्रुख जाफर ने अपना करियर रेडियो में बतौर अनाउंसर शुरू किया था। गीतों भरी कहानी नामक प्रोग्राम काफी यादगार रहा, जिसमें वे गीतों के बीच सुनाई जाने वाली कहानियों को अपनी आवाज देती थीं और गीतों का चयन करती थीं। नेशनल स्कूल आफ ड्रामा में वह शाम को क्लास करती थीं। लखनऊ में थियेटर करती थीं। 

एनएसडी से कोर्स करने के बाद उन्होंने राष्ट्रीय मंच पर अल्काजी के निर्देशन में इटैलियन नाटक सिक्स कैरेक्टर्स इन सर्च ऑफ एन आथर में एक अहम किरदान निभाया। उमराव जान, स्वदेस, सीक्रेट सुपरस्टार, गुलाबो सिताबो, मेहरुनिंसा में अपने किरदार को जीने वाली बेगम को 28 मार्च 2021 को फिल्मफेयर अवार्ड से नवाजा गया।

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