लखनऊ के इंदिरा गांधी प्रतिष्ठान में रविवार (4 मई) को विश्व हिंदू परिषद के नेतृत्व में धर्म संसद का आयोजन हुआ। इस कार्यक्रम में अयोध्या, काशी, मथुरा और अन्य स्थानों के साधु-संतों के अलावा उत्तर प्रदेश के डिप्टी सीएम बृजेश पाठक भी शामिल हुए। धर्म संसद में देशभर के हिंदू समाज से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर विचार-विमर्श हुआ और कई महत्वपूर्ण प्रस्ताव पारित किए गए।
धर्म संसद के दौरान अयोध्या के हनुमानगढ़ी के पुजारी राजू दास ने बताया कि इस सम्मेलन में कई अहम निर्णय लिए गए, जिनमें जम्मू कश्मीर के पहलगाम में आतंकियों द्वारा धर्म पूछकर की गई हत्याओं की कड़ी निंदा की गई। इसके अलावा हिंदू राष्ट्र की स्थापना का प्रस्ताव भी पारित किया गया।
धर्म संसद में कुल 7 प्रस्ताव पारित किए गए, जिनमें से प्रमुख थे:
- सनातनी हेल्पलाइन नंबर की शुरुआत।
- हिंदू राष्ट्र की स्थापना का प्रस्ताव।
- मुस्लिम बहुल इलाकों में विश्व हिंदू रक्षा परिषद द्वारा मंदिरों और हिंदू समाज की रक्षा के लिए कार्यालय खोलने का निर्णय।
- मुर्शिदाबाद की घटना को लेकर सनातन यात्रा का आयोजन, जो पश्चिम बंगाल से शुरू होकर कश्मीर तक जाएगी।
- सनातन धर्म की रक्षा करने वालों को ‘सनातन गौरव सम्मान’ देने का प्रस्ताव।
- हिंदू लड़कियों के लिए मुस्लिम लड़कों से शादी करने को लेकर एक अभियान चलाने की योजना।
- लव जिहाद और लैंड जिहाद की घटनाओं को रोकने के लिए सनातनी सेना के गठन का निर्णय।
इसके अलावा, पुजारी राजू दास ने बताया कि मुस्लिम इलाकों में विश्व हिंदू रक्षा दल कार्यालय खोलेगा ताकि वहां रहने वाले हिंदुओं और मंदिरों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके। उन्होंने मुर्शिदाबाद में हुए हमलों का भी उल्लेख किया, जहां हिंदुओं के 600 घर जलाए गए और उनके घरों की रेकी की गई।
राजू दास ने कहा कि धर्म संसद का उद्देश्य सनातनी धर्म की रक्षा के लिए जागरूकता बढ़ाना था। उनका मानना था कि यदि सनातनी धर्म की रक्षा करेंगे, तो धर्म भी उनकी रक्षा करेगा।