इजरायल-हमास युद्ध विराम समझौते के तहत आज फिलिस्तीन का यह संगठन बेंजामिन नेतन्याहू की आर्मी को उसके चार बंधकों को मुक्त करने की तैयारी कर रहा है. इनमें 19 से 20 साल की उम्र की चार आईडीएफ की महिला सोल्जर शामिल हैं. हमास ने शुक्रवार को कहा कि वो 20 साल की करीना एरीव, डेनिएला गिल्बोआ, लेवी और 19 साल की लिरी अलबाग को रिहा करने जा रहा है. हालांकि IDF यानी इजरायल डिफेंस फोर्स की दुविधा इस बात को लेकर है कि जिस नागरिक को छोड़ने के लिए वो बार-बार हमास को कह रहे हैं, उसकी ओर फिलिस्तीन के इस संगठन का जरा भी फोकस नहीं है.
इजरायल और हमास के बीच यह समझौता हुआ है कि हर एक बंधक को छोड़ने के एवज में बेंजमिन नेतन्याहू की आर्मी को 50 कैदियों को छोड़ना होगा. यह कैद उम्र कैद या फिर किसी गंभीर मामलों में कठोर सजा प्राप्त हैं. हमास ने 7 अक्टूबर 2023 को इजरायल में घुसकर बड़ा हमला किया था. इस दौरान वो एक हजार से ज्यादा इजरायली नागरिकों व सेनिकों को बंधक बनाकर अपने साथ गाजा में ले गया था. तब से जारी जवाबी कार्रवाई में इजरायल की सेना गाजा पट्टी में 45 हजार से ज्यादा लोगों को मौत के घाट उतार चुकी है.
इजराइल की तरफ से इन चार महिलाओं के परिवारो को बताया गया कि हमास उनके फैमिली मेम्बर्स को छोड़ने जा रहा है. उधर, इजराइल गाजा में अभी भी बंधक नागरिक अर्बेल येहुद को शनिवार की रिहाई में शामिल कराना चाहता था. हालांकि हमास की तरफ से उनका नाम शामिल नहीं किया गया. 29 वर्षीय येहुद को इजरायल के किबुत्ज़ नीर ओज़ में उसके घर से बंधक बनाया गया था. माना जाता है कि येहुद को हमास ने नहीं बल्कि फिलिस्तीनी इस्लामिक जिहाद ने बंधक बनाया है.
हमास ने इन चार नागरिकों की सूची शुक्रवार को सौंपी थी. हालांकि शुरुआत में यह क्लीयर नहीं था कि इजराइल इस लिस्ट को स्वीकार करेगा या नहीं. ऐसा इसलिए क्योंकि इसमें येहुद का नाम नहीं था. एक अधिकारी ने सीएनएन को बताया कि सरकार को मध्यस्थों के माध्यम से नई लिस्ट मिलने के बाद इजरायल के पीएम बेंजामिन नेतन्याहू ने अपने रक्षा मंत्री और देश की वार्ता टीम के प्रमुखों के साथ फोन पर स्थिति का आकलन किया. बाद में उनके परिवारों को सूचित किया गया कि इजरायल रिहाई की इच्छा रखता है.