बरेली में बारिश का कहर: छह मकान गिरे… 94 गांव बाढ़ के पानी से घिरे

लगातार बारिश और नदियों की उफान की वजह से बरेली जिले के 94 गांव घिर गए हैं। बारिश के दौरान हुए हादसों में चार लोगों की मौत हो गई। इससे उनके परिवारों में कोहराम मच गया। छह लोगों के घर जमींदोज हो गए हैं। राहत और बचाव कार्य तैयारियों तक ही सिमटा हुआ है। बाढ़ प्रभावित गांवों के लोग खुद ही जान-माल की सुरक्षा की जद्दोजहद में जुटे हुए हैं।

बहेड़ी तहसील क्षेत्र के श्यामाचरन गौटिया, मुड़िया मुकर्रमपुर सहित सर्वाधिक 32 गांव बाढ़ की चपेट में हैं। फरीदपुर के पड़ेरा, कादरगंज, खलपुर, ढकनी, शहपुरा सहित 26, नवाबगंज के अमीरनगर, बढ़ेपुरा, अब्दला सहित 24 तो मीरगंज के धर्मपुरा, सुल्तानपुर, बफरी, गौसगंज सहित 12 गांवों में बाढ़ का पानी घुस गया है। यहां भोजन-पानी से लेकर पशुचारे तक का संकट खड़ा हो गया है। 

कुआंडांडा में दो, भुता के गुलरिया हजारीलाल गांव में एक तो नवाबगंज के अधकटा रवानी बेगम गांव में एक मकान जमींदोज हो गया। गनीमत रही कि इन घटनाओं में कोई हताहत नहीं हुआ।

इन लोगों की हुई मौत 
फरीदपुर के गांव बिशीपुर निवासी युवा किसान सुमित (20) की बहगुल नदी में डूबने से मौत हो गई। इसी तहसील क्षेत्र के बड़रा कासिमपुर गांव के अतुल (14) भी नहाने के दौरान पुलिया में डूब गए। इससे उनकी जान चली गई। जेड़ गांव के रविंद्र (38) तालाब में मछली पकड़ने गए थे। इस दौरान डूबकर उनकी मौत हो गई। इसके अलावा फतेहगंज पूर्वी क्षेत्र के गांव खनी नवादा में गड्ढे में भरे पानी में डूबकर विकास (15) की मौत हो गई। 

नदियों का जलस्तर बढ़ा, कृषि भूमि प्रभावित
बाढ़ खंड के एसडीओ अमित किशोर के मुताबिक नदियों का जलस्तर बढ़ा है। किच्छा, कोसी नदी में छोड़े गए पानी और रामगंगा के बढ़े जलस्तर से तट से सटे गांवों की कृषि भूमि प्रभावित होने की सूचना है, पर विस्थापन जैसे हालात नहीं हैं। रामगंगा का जलस्तर मंगलवार को और बढ़ सकता है। नदियों के जलस्तर की निगरानी हो रही है। ग्रामीणों को सतर्क किया जा रहा है। 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here