वैश्विक स्तर पर भारत की विकास गाथा स्वीकार्य: अमित शाह

मुंबई। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि आज दुनिया भारत की आर्थिक प्रगति को मान्यता दे रही है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में पिछले दस वर्षों में हुए सुधारों को ऐतिहासिक बताते हुए कहा कि इन कदमों से देश की आर्थिक नींव मजबूत हुई है।

शाह ने कहा कि बैंकिंग क्षेत्र, जो लंबे समय तक भ्रष्टाचार और अपारदर्शिता से जूझता रहा, उसमें मोदी सरकार ने बड़े बदलाव किए। उन्होंने बताया कि बीते दस सालों में 53 करोड़ से अधिक बैंक खाते खोले गए, जिससे गरीब से गरीब व्यक्ति तक बैंकिंग सेवाएं पहुंच सकीं। शाह के अनुसार, नॉन-परफॉर्मिंग एसेट्स (एनपीए) की स्थिति को पहली बार पारदर्शी तरीके से सामने रखा गया, जिससे बैंकों की विश्वसनीयता बढ़ी और निवेशकों का भरोसा लौटा।

जीएसटी और आर्थिक सुधार

गृह मंत्री ने कहा कि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) को लागू करने में मोदी सरकार ने राज्यों को 14% राजस्व वृद्धि की गारंटी दी, जो पिछली सरकारें नहीं कर सकीं। उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि राहुल गांधी की पार्टी इसे अपनी सोच बताती रही, पर अमल में नहीं ला पाई। शाह ने आगे कहा कि भारत की विकास यात्रा में ग्रीन ग्रोथ और रक्षा उत्पादन अहम भूमिका निभाएंगे।

भारत की वैश्विक छवि

शाह ने कहा कि तेज विकास दर और व्यापक सुधारों ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भारत की छवि को मजबूत बनाया है। दुनिया आज भारत को उभरती हुई आर्थिक शक्ति के रूप में देख रही है। उन्होंने भरोसा जताया कि आने वाले समय में भारत विश्व की अग्रणी अर्थव्यवस्थाओं में शुमार होगा।

भारत-अमेरिका वार्ता और भविष्य की दिशा

भारत-अमेरिका वार्ता पर बोलते हुए शाह ने कहा कि बातचीत अंतिम चरण में है और इसका परिणाम अगले एक सप्ताह में सामने आने की उम्मीद है। उन्होंने कहा कि सरकार अर्थव्यवस्था को सुचारु और मजबूत बनाने के लिए हरसंभव कदम उठा रही है।

इसके साथ ही उन्होंने ‘मेक इन इंडिया’ और एमएसएमई क्षेत्र को मजबूती देने पर जोर दिया और कहा कि ये पहल भारत को निर्माण का वैश्विक केंद्र बनाने में निर्णायक सिद्ध होंगी। शाह ने यूपीआई को डिजिटल क्रांति का आधार बताते हुए इसे देश की आर्थिक प्रगति का अहम स्तंभ करार दिया।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here