सीमा विवाद के बीच भारत-चीन में 17वें दौर की वार्ता हुई

तवांग में भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच हिंसक झड़प के बाद दोनों देशों के रिश्तों में तनाव बढ़ गया है। इस बीच भारत और चीन के बीच कोर कमांडर स्तर की 17वीं दौर की बैठक 20 दिसंबर को हुई है। कोर कमांडर स्तर की 17वीं दौर की बैठक के बारे में विदेश मंत्रालय ने जानकारी दी है। 

विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने प्रेस वार्ता करके बताया कि भारत-चीन कोर कमांडर स्तर की 17वीं दौर की बैठक 20 दिसंबर को चुशुल मोल्दो में चीनी पक्ष द्वारा आयोजित हुई थी। इस दौरान दोनों पक्षों ने पश्चिमी क्षेत्र में LAC के साथ विचारों का आदान-प्रदान किया और शेष मुद्दों पर जल्द से जल्द काम करने के लिए खुलकर और गहन चर्चा की। 

उन्होंने बताया कि बैठक के दौरान दोनों पक्ष पश्चिमी क्षेत्र में जमीन पर सुरक्षा और स्थिरता बनाए रखने और सैन्य और राजनयिक चैनलों के माध्यम से बातचीत बनाए रखने और पारस्परिक रूप से स्वीकृत संकल्प पर काम करने पर सहमत हुए। 

चीन के दिशानिर्देशों का पालन करें वहां रहने वाले भारतीय
इस दौरान चीन में बढ़ते कोरोना मामलों को लेकर भी विदेश मंत्रालय ने बयान दिया है। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा कि हम चीन में कोविड की स्थिति पर नजर रख रहे हैं। हम दुनिया की फार्मेसी हैं और उस रूप में हमेशा दूसरे देशों की मदद की है। हमें अभी ट्रैवल एडवाइजरी जारी करना है, लेकिन फिलहाल लोगों को उस देश में स्थानीय दिशानिर्देशों का पालन करना चाहिए जहां वे रह रहे हैं।  

भारत ने लगातार अफगानिस्तान में महिलाओं की शिक्षा का समर्थन किया
अफगानिस्तान में लड़कियों की विश्वविद्यालय शिक्षा पर लगे बैन को लेकर भी उन्होंने चिंता जाहिर की। इस मुद्दे पर भारत का पक्ष रखते हुए विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा कि भारत ने अफगानिस्तान में लगातार महिला शिक्षा का समर्थन किया है। मैं यूएनएससी संकल्प 2593 को भी याद करना चाहूंगा, जो मानव अधिकारों को बरकरार रखता है जो महिलाओं के लिए समान भागीदारी का आह्वान करता है। 

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