आपस में लड़ने के बजाये कांग्रेस कार्यकर्ता जनता के लिए लड़ें: राहुल

कांग्रेस कार्यसमिति की बैठक में शनिवार को राहुल गांधी ने पार्टी नेताओं को अहम संदेश दिया। उन्होंने कहा कि देश की जनता चाहती है कि पार्टी खड़ी हो और उसके अधिकारों के लिए संघर्ष करे, लोकतंत्र को बचाए। जनता यह नहीं चाहती कि कांग्रेस नेता आपस में लड़ें।

सीडब्ल्यूसी की बैठक को संबोधित करते हुए पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा कि यह महत्वपूर्ण नहीं है कि पद पर कौन बैठा है, लेकिन जनता सिर्फ इतना चाहती है कि कांग्रेस एकजुट रहे और लोकतंत्र की स्थिरता, संविधान के सम्मान की रक्षा और वंचितों के अधिकारों के लिए संघर्ष करे।

राहुल ने बताया जब चन्नी फोन पर रोने लगे
कांग्रेस नेता ने पंजाब के सीएम चरणजीत सिंह चन्नी का उदाहरण दिया और कहा कि जब पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी ने चन्नी को फोन किया और कहा कि उन्हें अमरिंदर सिंह के इस्तीफे के बाद मुख्यमंत्री पद का चार्ज लेना है तो वह भावुक हो गए, रोने लगे।


चन्नी ने समर्थन में कही यह बात
राहुल के यह कहने के बाद बैठक में मौजूद चन्नी ने उनकी बात का समर्थन किया और सीडब्ल्यूसी से कहा कि वह अनुसूचित जाति के सदस्य हैं और साधारण पृष्ठभूमि से आते हैं। उन्होंने कभी सपना नहीं देखा था कि वह मुख्यमंत्री बनेेंगे, लेकिन सोनिया गांधी व राहुल गांधी ने समाज के सबसे कमजोर तबके के व्यक्ति को चुना।


कांग्रेस को कमजोर करने वाले सोचें
सूत्रों के अनुसार राहुल गांधी ने आगे कहा कि हमें समाज में अन्याय, असमानता, विभाजन और भेदभाव से लड़ने की जरूरत है चाहे वह भेदभाव किसी भी धर्म, जाति, रंग या पृष्ठभूमि से संबंधित हो। कांग्रेस यही है और यही लोग कांग्रेस से होने की उम्मीद करते हैं। जो लोग कांग्रेस को कमजोर करने की कोशिश कर रहे हैं, उन्हें इस बारे में भी सोचना चाहिए। राहुल गांधी ने लोकतंत्र और संविधान पर हमले और गरीबों और मध्यम वर्ग पर लगातार हमलों का जिक्र किया और कहा कि लोग चाहते हैं कि कांग्रेस उनके और उनके अधिकारों के लिए खड़ी हो और समाज में असमानताओं के खिलाफ लड़े।

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