बिहार में ‘मौत वाला नेशनल हाईवे’, 2 महीने में हुई आधा दर्जन से अधिक मौत

बिहार में एक नेशनल हाईवे ‘मौत का वे’ बनता जा रहा है। अररिया गलगलिया नेशनल हाईवे 327 पर आए दिन लोगों की जान जा रही है। हलांकि, इस मार्ग पर लगातार हो रही दुर्घटना पर जिलाधिकारी इनायत खान ने चिंता जताई है।

उन्होंने विभागीय अभियंताओं को बुलाकर नियमों का सख्ती से पालन करने व कैमरे लगाने पर भी मंथन किया। लेकिन इन दिनों सड़क निर्माण के साथ ही सड़क दुर्घटनाओं की संख्या बढ़ती ही जा रही है। ओवर स्पीड के कारण यात्री लगातार मौत के शिकार हो रहे हैं।

वाहनों की रफ्तार बन रही मौत का कारण

लोगों का कहना है कि वाहनों की रफ्तार नियंत्रित करके ही सड़क दुर्घटनाओं को रोका जा सकता है। ओवर स्पीड को लेकर हाइवे 327 ई पर चालकों की मनमानी लगातार सामने आ रही है। जिससे लोग इस सड़क को मौत का वे कहने लगे हैं।

जून महीने में खुट्टी चौक पर हेलाल डीलर सड़क पार करते समय ट्रक की चपेट में आ गए थे। जिससे घटनास्थल पर ही उनकी मौत हो गई। चार जून को तारण चौक के निकट पलासी थाना क्षेत्र के सुखसेना गांव का बाइक सवार तेज रफ्तार वाहन की चपेट में आकर मौत के शिकार हो गए।

विगत 14 जुलाई को जोकीहाट थाना क्षेत्र के थपकोल गांव वार्ड नंबर चार के मुजाहिद के परिवार के पांच लोगों की मौत सड़क दुघर्टना में किशनगंज जिले के पौआखाली थाना के निकट पेटभरी चौक पर हो गई। सभी लोग जोकीहाट से बागडोगरा एयरपोर्ट अरतिया गांव के खुर्शीद को रीसिव करने जा रहे थे।

लेकिन तेज रफ्तार ट्रक ने यात्रियों से भरी स्कार्पियो को जोरदार ठोकर मार दी। जिसमें स्कार्पियो पर सवार चालक सहित पांच लोगों की मौत हो गई थी। 15 जुलाई के आसपास ही केसर्रा पंचायत के खुट्टी गांव वार्ड छह के लक्ष्मण मण्डल की मौत पंचायत भवन केसर्रा के निकट हो गई थी। 10 जुलाई को पथराबाड़ी पंचायत के पोस्टमास्टर बदरूद्दीन के पुत्र सड़क दुर्घटना में हड़वा चौक पर बुरी तरह ज़ख़्मी हो गये।

वहीं प्लस-टू हाईस्कूल गैरकी के एक शिक्षक बैरगाछी चौक के निकट बाइक से गिरकर घायल हो गए। नौ अगस्त को भेभड़ा चौक के निकट बौंसी थाना के आटो चालक मु. यूनुस की ट्रक की ठोकर से घटनास्थल पर ही हो गई। इस तरह लगातार हो रही सड़क दुर्घटना लोडेड ट्रक,बाइक व कार चालकों की मनमानी को दर्शाता है। नई सड़क के कारण मालवाहक ट्रक भी रफ्तार में चलता है। इसलिए इस मार्ग पर सड़क दुर्घटनाओं को नियंत्रित करने के लिए वाहनों की रफ्तार को रोकना होगा।

अधिकतर राष्ट्रीय राजमार्गों पर कैमरे लगाए गए हैं, जो वाहनों की रफ्तार पर नजर रखता है। ठीक उसी तरह इस मार्ग पर भी स्पीडोमीटर से लैस कैमरा लगाकर तेज रफ्तार वाहनों के चालान काटे जाएंगे तो वाहनों की रफ्तार में कमी आएगी। साथ ही दुर्घटनाओं को हद तक रोका जा सकता है।

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