बरेली: मौलाना तौकीर की तलाश में दिल्ली से हैदराबाद तक दबिश

वर्ष 2010 में हुए बरेली दंगे के लिए कोर्ट से मास्टरमाइंड ठहराए गए मौलाना तौकीर रजा को पुलिस अब तक गिरफ्तार नहीं कर पाई है। मौलाना के खिलाफ दो बार गैरजमानती वारंट जारी हो चुका है। गिरफ्तारी न होने पर कोर्ट ने पुलिस को फटकार भी लगाई है। इसके बाद एसएसपी को जिम्मेदारी सौंपी गई। मौलाना को 19 मार्च को एडीजे फास्ट ट्रैक कोर्ट में पेश करना है। अब सिर्फ तीन दिन बचे हैं, लेकिन मौलाना का अब तक पता नहीं चला है। ऐसे में मौलाना की गिरफ्तारी पुलिस के लिए चुनौती बनी हुई है। 

आईएमसी (इत्तेहाद-ए-मिल्लत काउंसिल) प्रमुख तौकीर रजा को 19 मार्च को एडीजे फास्ट ट्रैक कोर्ट में पेश करना है। इसके लिए दो सीओ के नेतृत्व में दो टीमें जुटी हैं। मौलाना की लोकेशन कभी दिल्ली में मिल रही है तो कभी हैदराबाद में। एसपी सिटी राहुल भाटी ने बताया कि मौलाना के सभी फोन नंबर बंद हैं। परिचितों व परिजनों के नंबर सर्विलांस पर लगाकर उनकी तलाश की जा रही है। एक टीम दिल्ली में मौलाना की तलाश कर रही है। हैदराबाद में मौलाना के होने का इनपुट मिलने पर दूसरी टीम को वहां के लिए रवाना किया गया है।

13 मार्च को दोबारा जारी किया गया वारंट
एडीजे फास्ट ट्रैक कोर्ट से 13 मार्च को मौलाना तौकीर रजा के खिलाफ दोबारा से गैर जमानती वारंट जारी किया गया। इस बार वारंट एसएसपी के नाम से संबोधन करके जारी किया गया है, मतलब यह कि 19 मार्च 2024 को मौलाना को गिरफ्तार कर पेश कराने की जिम्मेदारी एसएसपी को सीधे तौर पर दी गई है। वारंट में मारपीट, हमला, बलवा, सेवन क्रिमनल लॉ एक्ट और साजिश रचने जैसी वह सभी धाराएं लगाई गई हैं, जिनमें मुकदमे के बाकी आरोपियों पर चार्जशीट लगी है।

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