उत्तर प्रदेश की मछलीशहर सीट से समाजवादी पार्टी की युवा सांसद प्रिया सरोज इन दिनों सुर्खियों में हैं. सोशल मीडिया पर उनका नाम टीम इंडिया के स्टार क्रिकेटर रिंकू के साथ जोड़ा जा रहा है. लॉ की पढ़ाई कर रहीं प्रिया सरोज पिछले साल हुए लोकसभा चुनाव में जीत हासिल करने के बाद पहली बार संसद पहुंची हैं. इस बीच संसद के शीतकालीन सत्र में संविधान पर उनके धमाकेदार भाषण की चर्चा भी तेज है.
सपा सांसद प्रिया सरोज ने 18वीं लोकसभा के शीतकालीन सत्र में संविधान पर चर्चा के दौरान जोरदार भाषण दिया. अपने संबोधन में उन्होंने मंदिर-मस्जिद, संविधान के उल्लंघन और समाज में नफरत फैलाने को लेकर केंद्र सरकार पर जमकर हमला बोला. इस दौरान प्रिया सरोज ने एक शेर के जरिए सरकार पर निशाना साधते हुए कहा, ‘तुम्हारी फाइलों में गांव का मौसम गुलाबी है. पर ये आंकड़े झूठे हैं और ये दावा किताबी है.’
‘हमारा संविधानदुनिया का सबसे सुंदर और अनूठा’
इस दौरान सदन में प्रिया सरोज के बगल में समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव की पत्नी और मैनपुरी की सांसद डिंपल यादव बैठी थीं. सबसे युवा सांसद के तौर पर प्रिया सरोज का संविधान पर भाषण काफी चर्चा में रहा. उनके बगल में बैठी डिंपल यादव भी उनका हौसला बढ़ा रही थीं. इस दौरान प्रिया सरोज एक-एक कर कई मुद्दे उठा रही थीं और केंद्र सरकार पर जमकर निशाना साध रही थीं.
प्रिया सरोज ने अपने भाषण की शुरुआत संविधान निर्माता बाबा साहब बीआर अंबेडकर को श्रद्धांजलि देकर की. उन्होंने कहा, ‘भारत का संविधान दुनिया का सबसे विस्तृत, सुंदर और अनूठा संविधान है. इसे ऐसी भावनाओं के साथ बनाया गया है कि यह समानता, बंधुत्व और राष्ट्रीय एकता को मजबूती देता है.’ इस दौरान उन्होंने कहा कि संविधान ने ही उन्हें आज यहां खड़े होकर अपने विचार रखने की शक्ति दी है.
केंद्र सरकार पर जमकर बरसीं प्रिया सरोज
अपने भाषण में प्रिया सरोज ने समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह यादव और मौजूदा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने संविधान के मूल्यों की हमेशा रक्षा किया. उन्होंने हमेशा सामाजिक न्याय के लिए लड़ाई लड़ी. लेकिन आज हमें यह सोचने की जरूरत है कि क्या हम संविधान के आदर्शों पर चल रहे हैं? केंद्र सरकार पर हमला बोलते हुए सपा सांसद ने कहा, 2014 से पहले भारत धर्म, निष्पक्षता, समानता और न्याय का प्रतीक था.
उन्होंने कहा कि इससे पहले की सभी सरकारों ने संविधान और लोकतंत्र की रक्षा की थी. लेकिन पिछले 10 सालों से एनडीए सरकार की नीतियां धर्मनिरपेक्षता को कमजोर कर रही हैं. जबकि संविधान की भावना समाज के अंतिम पायदान पर खड़े लोगों को मुख्यधारा में शामिल करने की है. बता दें कि प्रिया सरोज को लेकर चर्चा है कि उनकी टीम इंडिया के स्टार क्रिकेटर रिंकू के साथ शादी फिक्स हो गई है. दावा किया जा रहा है कि दोनों का रोका भी हो गया है. हालांकि, इसकी अधिकारिक पुष्टी नहीं हुई हैं.