गाजियाबाद के कविनगर इलाके में नोएडा एसटीएफ ने एक फर्जी दूतावास का भंडाफोड़ किया है। टीम ने खुद को अलग-अलग काल्पनिक देशों का राजनयिक बताने वाले हर्षवर्धन जैन नामक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। आरोपी खुद को ‘वेस्ट आर्कटिका’, ‘सबोरगा’, ‘पॉल्विया’ और ‘लॉडोनिया’ जैसे अस्तित्वहीन देशों का एंबेसेडर बताता था।
राजनयिक ठाट-बाट की आड़ में फर्जीवाड़ा
एसटीएफ के अनुसार, हर्षवर्धन के पास से कूटनीतिक नंबर प्लेट लगी चार लग्जरी गाड़ियां, 12 डिप्लोमैटिक पासपोर्ट, नकली सरकारी दस्तावेज, विदेश मंत्रालय की जाली मुहरें, दो फर्जी पैन कार्ड और करीब 47.7 लाख रुपये नकद बरामद किए गए हैं। इसके अलावा, आरोपी के पास कई देशों की विदेशी मुद्राएं और 18 अतिरिक्त डिप्लोमैटिक नंबर प्लेट भी मिली हैं।
फोटोशॉप से बनाई पीएम-राष्ट्रपति संग तस्वीरें
पूछताछ में पता चला है कि हर्षवर्धन खुद को प्रभावशाली दिखाने के लिए प्रधानमंत्री और राष्ट्रपति समेत प्रमुख हस्तियों के साथ एडिट की हुई तस्वीरों का इस्तेमाल करता था। इन झूठे साक्ष्यों के जरिए वह विदेशों में नौकरी दिलाने का झांसा देकर लोगों से पैसा ऐंठता था।
अंतरराष्ट्रीय नेटवर्क से जुड़े होने के संकेत
पुलिस जांच में यह भी खुलासा हुआ है कि आरोपी के तार कभी चंद्रास्वामी और कुख्यात अंतरराष्ट्रीय हथियार तस्कर अदनान खगोशी से जुड़े रहे हैं। इतना ही नहीं, साल 2011 में भी हर्षवर्धन के खिलाफ अवैध सैटेलाइट फोन रखने का मामला दर्ज हो चुका है।
हवाला और शेल कंपनियों का इस्तेमाल
बताया जा रहा है कि आरोपी हवाला लेन-देन के लिए फर्जी कंपनियों का सहारा लेता था। प्रेस कार्ड और विभिन्न देशों की जाली मुहरों के जरिये वह लोगों को भ्रमित करता था और अवैध गतिविधियों को अंजाम देता था।
क्या-क्या मिला आरोपी के पास से:
- डिप्लोमैटिक नंबर प्लेट लगी 4 लग्जरी गाड़ियां
- 18 अलग-अलग डिप्लोमैटिक नंबर प्लेट
- 12 माइक्रोनेशन डिप्लोमैटिक पासपोर्ट
- विदेश मंत्रालय की नकली मुहरें
- दो फर्जी पैन कार्ड
- 34 देशों और कंपनियों की सीलें
- फर्जी प्रेस कार्ड
- 44.7 लाख रुपये नकद
- विभिन्न देशों की विदेशी मुद्रा
एसटीएफ ने आरोपी को कविनगर थाना पुलिस के हवाले कर दिया है। मामले की जांच आगे बढ़ रही है और इस नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों की भी तलाश की जा रही है।