कुंभ मेला: जल शक्ति मंत्री ने कहा- तीन माह में सभी एसटीपी चालू कराएं

वर्ष-2025 में होने वाले प्रयागराज कुंभ की तैयारियों के लिए सिंचाई विभाग ने कमर कस ली है। इस बाबत पूरी कार्ययोजना तैयार की गई है। जल शक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने कहा है कि खास तौर पर गंगा व उसकी सहायक नदियों में गिरने वाला दूषित जल रोकना होगा। इसके लिए तीन माह में सभी एसटीपी या दूसरे संयंत्र चालू कर दिए जाएं। सभी संबंधित विभागों से इसमें समन्वय स्थापित किया जाए।

कुंभ मेले से पहले गंगा को पूर्णत स्वच्छ व निर्मल बनाने की मुहिम चल रही है। इसके लिए बनाई गई कार्ययोजना पर अधिकारियों के साथ जलशक्ति मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने मंथन किया। इस मौके पर गंगा एवं उसकी सहायक नदियों में प्रदूषण की रोकथाम के लिए विभिन्न विभागों द्वारा किए जा रहे प्रयासों एवं भविष्य की कार्ययोजना पर चर्चा की गई। राज्य स्वच्छ गंगा मिशन ने प्रस्तुतिकरण दिया जिसमें विभिन्न विभागों के माध्यम से संचालित किए जा रहे एसटीपी व सीईटीपी की वर्तमान स्थिति बताई गई।

बताया गया कि सीवेज उत्सर्जन, उत्प्रवाह के सापेक्ष पर्याप्त संख्या में एसटीपी या निर्माणाधीन है। कुछ की टेंडर एवं डीपीआर अनुमोदन की प्रक्रिया में है। गंगा नदी में प्रदूषण की पहले से कम हुआ है। गंगा पोल्यूशन स्ट्रेच प्रयोरिटी चौथे से अब पांचवी में पहुँच गई है। जिन एसटीपी में मानक पूरे नहीं हुए उन पर दोबारा बदले डिजाइन आधारित संयंत्र बनाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।

निगरानी बेहद जरूरी
बैठक में कहा गया कि प्रदूषण विभाग यदि और गंभीरता से निगरानी करे तो प्रदूषण पर तगड़ी लगाम लग सकती है। जल शक्ति मंत्री ने कहा कि उत्प्रवाह की सतत निगरानी करते रहें। सभी परियोजनाओं को विभिन्न विभाग समय से पूरा किया जाए। नमामि गंगे के प्रमुख सचिव अनुराग श्रीवास्तव ने निर्देश दिए कि राज्य स्वच्छ गंगा मिशन के तहत नियमित रूप से एसटीपी व औद्योगिक इकाईयों के इनलेट और आउटलेट की जांच होनी ही चाहिए। परियोजना निदेशक डा. बलकार सिंह ने बताया कि हिंडन बेसिन में गिर रहे सभी नालों को टैप करने की परियोजना स्वीकृत की जा चुकी है। उन्होंने कहा कि वर्तमान में प्रदेश में 75 जिला गंगा समितियों का गठन किया जा चुका है।

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