मुजफ्फरनगर गुजरात एटीएस और नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी) शहर के खालापार इलाके में एक घर से करीब 210 किलो हेरोइन बरामद की है। बरामद हेरोइन की कीमत 700 करोड़ रुपये बताई गई है।
गुरुवार को शाहीन बाग से 100 करोड़ रुपये की 50 किलोग्राम हेरोइन और अन्य मादक पदार्थ बरामद किया गया था। जांच के दौरान दिल्ली में प्रॉपर्टी डीलर का काम कर रहे खालापार मुजफ्फरनगर निवासी हैदर को भी एनसीबी ने हिरासत में लिया। उसी की निशानदेही पर शनिवार रात हेरोइन की बरामदगी की गई।
शामली कैराना से भी एक युवक को हिरासत में लिया गया था, जिसे बाद में छोड़ दिया गया। पिछले वर्ष सितंबर माह में गुजरात के मुद्रा पोर्ट पर एक कंटेनर में करीब 3000 किलोग्राम हेरोइन की खेप बरामद हुई थी। उसे मंगवाने वाले अंतर्राष्ट्रीय गिरोह से इस मामले से इसके तार जुड़ रहे हैं। स्थानीय पुलिस फिलहाल मामले में चुप्पी साधे हुए हैं।
मुजफ्फरनगर खालापार में गुजरात एटीएस और एनसीबी की संयुक्त कार्रवाई के बाद हर कोई हैरान हर गया। बेटे ने घर में 210 किलो हेरोइन छिपा रखी थी और बूढ़ी मां को भनक तक नहीं लगी। मामला खुला तो घर पर ताला लटक गया।
खालापार क्षेत्र के रहने वाले लोग बताते हैं कि हैदर लगभग 20 साल पहले शहर छोड़कर दिल्ली में जाकर रहने लगा था। वहां पर वह मकान बनाकर बेचने व प्रापर्टी डीलर का काम करता था। वह कभी कभी अपने घर आता था, लेकिन लग्जरी गाड़ी में ही घर आता था।
कुछ देर रुकने के बाद वह चला जाता था। यहां घर पर उसकी बूढ़ी मां ही रहती थी। वह भी सुबह कहीं चली गई। शनिवार देर रात सादी वर्दी में किसी बड़ी टीम ने शहर पुलिस के साथ हैदर के घर पहुंच कर कार्रवाई की थी।
इस दौरान टीम के लोगों ने गली में आने-जाने वाले लोगों की आवाजाही पर रोक लगा दी थी। सभी लोगों को दूसरे रास्ते से जाने को कहा गया था। गली व क्षेत्र में चारों तरफ पुलिस ही पुलिस तैनात थी। काफी देर बाद पुलिस अधिकारी कई कीमती बैगों में कुछ सामान लेकर बाहर निकले थे। यह बैग रिक्शा में ले जाए गए। लोगों ने छिपकर टीम की कार्रवाई को देखा था।
यूपी पुलिस को भनक तक नहीं लगी
खालापार से एटीएस व एनसीबी की टीम ने कार्रवाई कर भारी मात्रा में हेरोइन बरामद की है। इससे स्थानीय पुलिस चौकी और कोतवाली पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवालिया प्रश्न लग रहे हैं।