मुजफ्फरनगर स्थित पचैंडा गांव में एक ही परिवार पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा। इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती पिता के लिए दवा लेने निकला बेटा सड़क हादसे का शिकार हो गया। एक ओर बीमार पिता की अस्पताल में मौत हो गई, तो दूसरी ओर बेटे ने भी इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। इस दोहरी त्रासदी से गांव में शोक की लहर है।
पचैंडा निवासी 60 वर्षीय सतेंद्र कुमार कूकड़ा में दुकान चलाते थे। बीमारी के चलते उन्हें मेरठ के एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। इलाज के दौरान डॉक्टर ने एक जरूरी इंजेक्शन मंगाने को कहा, जिसके लिए उनका बेटा देव पाल मेडिकल स्टोर की ओर निकला।
इसी दौरान रास्ते में एक तेज रफ्तार कार ने देव पाल को टक्कर मार दी। गंभीर रूप से घायल देव को राहगीरों ने तुरंत अस्पताल में भर्ती कराया, लेकिन परिजनों को इसकी जानकारी नहीं मिल सकी। जब रात तक देव घर नहीं लौटा, तो परिवार वालों ने उसकी तलाश शुरू की।
उधर, रात में ही सतेंद्र कुमार की तबीयत और बिगड़ने से उनकी मौत हो गई। अगली सुबह परिजनों को पता चला कि देव पाल अस्पताल में भर्ती है और हालत नाजुक बनी हुई है। पिता के अंतिम संस्कार के बाद शनिवार को बेटे ने भी इलाज के दौरान दम तोड़ दिया।
एक ही परिवार में कुछ ही घंटों के अंतराल पर पिता-पुत्र की मौत से पूरे पचैंडा गांव में शोक का माहौल है। दोनों की याद में सोमवार को एक साथ शोकसभा आयोजित की जाएगी।