लखनऊ से मुंबई जा रही पुष्पक एक्सप्रेस से सफर कर रहे यात्रियों की जानकारी लेने के लिए उनके परिजन बुधवार शाम लखनऊ जंक्शन पहुंचे। पूछताछ काउंटर पर डटे रहे। फिर हेल्पडेस्क पर गए, जहां तैनात कर्मचारियों से हादसे के बाबत जानकारियां जुटाते रहे। वहीं हेल्पलाइन नंबर लगातार घनघनाता रहा। 145 से अधिक लोगों ने अपने यात्रियों की जानकारी लेने के लिए फोन किया। हादसे में अब तक 12 की मौत हो गई।
दरअसल, लखनऊ जंक्शन से मुंबई जाने वाली गाड़ी संख्या 12533 पुष्पक एक्सप्रेस में बुधवार को महाराष्ट्र के जलगांव में परांडा स्टेशन पर धुआं उठा, जिससे आग की आशंका में यात्रियों ने चेन खींच दी। इसके बाद कई यात्री नीचे कूद गए और दूसरे ट्रैक पर आ रही कर्नाटक एक्सप्रेस की चपेट में आ गए। इससे कइयों की मौत हो गई तथा कई घायल हो गए।
हादसे के बाद पूर्वोत्तर रेलवे प्रशासन की ओर से हेल्पलाइन नंबर 8957409292 जारी किया। साथ ही लखनऊ जंक्शन पर हेल्पडेस्क भी बनवा दी, जहां तैनात रेलकर्मी हादसे की जानकारी लेने वालों को रिपोर्ट देते रहे। इतना ही नहीं जंक्शन के पूछताछ केंद्र पर भी लोग पुष्पक एक्सप्रेस हादसे के बाद अपने यात्रियों की जानकारी लेते नजर आए।
घनघनाती रही हेल्पलाइन
लखनऊ जंक्शन पर हेल्पडेस्क बनाई गई तथा हेल्पलाइन नंबर जारी की गई। हेल्पलाइन नंबर 8957409292 पर लगातार कॉल आती रहीं। रेलकर्मी ने बताया कि ऐसे कॉल भी आए, जहां पूछने वालों के पास पैसेंजर का नाम, टिकट डिटेल वगैरह नहीं थी। लोगों ने हेल्पलाइन पर मृतकों की सूची तक मांगी। देर रात तक 145 से अधिक कॉल्स आए।
इधर पुष्पक में होती रही हादसे की चर्चा
लखनऊ जंक्शन से मुंबई के लिए बुधवार को रात में रवाना होने वाली गाड़ी संख्या 12533 पुष्पक एक्सप्रेस की बोगियों में हादसे की ही चर्चा होती रही। जनरल से लेकर एसी बोगियों तक में पुष्पक के मृतकों के बाबत यात्री बातचीत करते नजर आए। जनरल से सफर करने वाले कई यात्रियों ने अपनी यात्रा निरस्त कर दी।