देश की राजधानी दिल्ली में मंगलवार को सोना और चांदी दोनों धातुओं की कीमतों में तेज़ी देखी गई। सोने का भाव ₹1 लाख प्रति 10 ग्राम के स्तर को पार कर गया, जबकि चांदी की दरों में ₹3,000 प्रति किलो तक की वृद्धि दर्ज की गई। विशेषज्ञों के अनुसार डॉलर इंडेक्स में कमजोरी और वैश्विक व्यापार तनाव (टैरिफ टेंशन) इसकी प्रमुख वजहें हैं। हालांकि निवेशकों की नजर अमेरिकी केंद्रीय बैंक (फेडरल रिजर्व) की नीति और प्रमुख आर्थिक आंकड़ों पर टिकी हुई है, जिससे आगे चलकर बाजार की दिशा तय हो सकती है।
एक महीने के शिखर पर पहुंचा सोना
अखिल भारतीय सर्राफा संघ के आंकड़ों के मुताबिक, मंगलवार को 99.9 प्रतिशत शुद्धता वाला सोना ₹1,000 की तेजी के साथ ₹1,00,020 प्रति 10 ग्राम पर पहुंच गया। पिछला बंद भाव ₹99,020 प्रति 10 ग्राम था। इससे पहले 19 जून को सोने ने ₹1 लाख का स्तर छुआ था। वहीं 99.5 प्रतिशत शुद्धता वाले सोने की कीमत भी ₹1,000 बढ़कर ₹99,550 प्रति 10 ग्राम हो गई, जो पहले ₹98,550 थी।
चांदी भी महंगी हुई
सोने के साथ-साथ चांदी की कीमत में भी तेज़ उछाल देखने को मिला। चांदी मंगलवार को ₹3,000 बढ़कर ₹1,14,000 प्रति किलोग्राम (कर सहित) पहुंच गई, जबकि सोमवार को यह ₹1,11,000 पर बंद हुई थी।
वैश्विक बाजारों में मिश्रित रुख
अंतरराष्ट्रीय बाजार में मंगलवार को सोने की हाजिर कीमत 0.28% गिरकर $3,387.42 प्रति औंस रही, जबकि चांदी की दर 0.11% घटकर $38.89 प्रति औंस पर आ गई। एलकेपी सिक्योरिटीज़ के उपाध्यक्ष (कमोडिटी व करेंसी रिसर्च) जतिन त्रिवेदी के अनुसार, कॉमेक्स पर सोना $3,395 से $3,383 के बीच सीमित दायरे में कारोबार कर रहा है, जो यह संकेत देता है कि निवेशक किसी नए वैश्विक संकेत का इंतजार कर रहे हैं।
नज़र फेड की नीति और वैश्विक आंकड़ों पर
अबंस फाइनेंशियल सर्विसेज के सीईओ चिंतन मेहता ने कहा कि बाजार की निगाहें अमेरिकी फेडरल रिजर्व के प्रमुख जेरोम पॉवेल और गवर्नर मिशेल बोमन के बयानों पर रहेंगी, जिससे मौद्रिक नीति की दिशा को लेकर संकेत मिल सकते हैं। एमके ग्लोबल फाइनेंशियल सर्विसेज की रिसर्च एनालिस्ट रिया सिंह ने बताया कि चीन की लोन प्राइम रेट, अमेरिकी पीएमआई आंकड़े और टिकाऊ वस्तुओं के ऑर्डर जैसे अहम संकेतक, ब्याज दर की संभावनाओं को प्रभावित कर सकते हैं, जिसका असर सीधे सोने की चाल पर पड़ेगा।