हेनले पासपोर्ट इंडेक्स की ताज़ा रिपोर्ट में भारत की पासपोर्ट ताकत में उल्लेखनीय सुधार देखा गया है। जनवरी 2025 के बाद भारत की रैंकिंग 85वें से बढ़कर 77वें स्थान पर पहुंच गई है। अब भारतीय नागरिक 59 देशों में बिना वीजा के या वीजा ऑन अराइवल के ज़रिए यात्रा कर सकते हैं।
IATA के आंकड़ों पर आधारित रिपोर्ट
यह रैंकिंग इंटरनेशनल एयर ट्रांसपोर्ट एसोसिएशन (IATA) के आंकड़ों पर आधारित होती है और यह दर्शाती है कि किस देश के नागरिक कितनी जगहों पर बिना पूर्व वीजा के यात्रा कर सकते हैं।
सिंगापुर शीर्ष पर बरकरार, जापान और कोरिया दूसरे स्थान पर
सिंगापुर ने एक बार फिर 193 देशों तक वीजा-मुक्त पहुंच के साथ पहला स्थान हासिल किया है। जापान और दक्षिण कोरिया 190 गंतव्यों के साथ संयुक्त रूप से दूसरे स्थान पर हैं।
भारत को दो और देशों में वीजा फ्री एंट्री
भारत की इस रैंकिंग में उछाल का श्रेय हालिया द्विपक्षीय समझौतों और वैश्विक कूटनीतिक पहुंच में बढ़ोतरी को दिया जा रहा है। नए आंकड़ों के अनुसार, भारत की वीजा-मुक्त या वीजा ऑन अराइवल पहुंच में दो देशों की और बढ़ोतरी हुई है।
सऊदी अरब की भी स्थिति मजबूत, अमेरिका और ब्रिटेन की रैंकिंग गिरी
सऊदी अरब को भी पासपोर्ट रैंकिंग में लाभ हुआ है और वह चार स्थान की छलांग लगाकर 54वें स्थान पर पहुंच गया है, अब उसके नागरिक 91 देशों में वीजा-मुक्त यात्रा कर सकते हैं। वहीं अमेरिका की रैंकिंग 182 गंतव्यों के साथ 10वें स्थान तक खिसक गई है और ब्रिटेन अब 186 देशों की पहुंच के साथ छठे पायदान पर है। पिछले दशक में इन दोनों देशों की स्थिति लगातार गिरती रही है।
शीर्ष देशों की स्थिति
यूरोपीय देशों में डेनमार्क, फ्रांस, जर्मनी, इटली और स्पेन समेत सात देशों ने संयुक्त रूप से तीसरा स्थान प्राप्त किया है, जिनके पासपोर्ट पर 189 देशों में वीजा-मुक्त यात्रा संभव है। चौथे स्थान पर ऑस्ट्रिया, नीदरलैंड, स्वीडन, बेल्जियम जैसे देश हैं, जबकि न्यूजीलैंड, ग्रीस और स्विट्जरलैंड जैसे देश 187 देशों की वीजा फ्री यात्रा के साथ शीर्ष पांच में शामिल हैं।