भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने शनिवार को कहा कि जिस विचार के कारण अनुच्छेद 370 को हटाया गया, उसके पीछे राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) का हाथ था और पूछा कि अगर आरएसएस नहीं होता तो भारत कैसा होता। यहां एक पुस्तक विमोचन के अवसर पर बोलते हुए उत्तर पूर्वी दिल्ली के सांसद ने कहा कि आरएसएस की सोच ने न केवल भारत बल्कि पूरी दुनिया को प्रभावित किया है।
भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने कहा, “मुझे कभी-कभी आश्चर्य होता है कि अगर आरएसएस नहीं होता तो आज भारत कैसा होता। कौन सोच सकता था कि अनुच्छेद 370 को निरस्त कर दिया जाएगा? जब जम्मू-कश्मीर को विशेष दर्जा दिया गया था तो किसी ने प्रतिज्ञा की होगी कि हम जीतेंगे।” दक्षिणपंथी विचारक श्यामा प्रसाद मुखर्जी की लोकप्रिय प्रतिज्ञा का पाठ करते हुए कहा कि एक देश में दो प्रतीक, दो प्रधानमंत्री और दो संविधान हैं।
उन्होंने ‘आरएसएस-सेवा समर्पण और राष्ट्र निर्माण के 100 वर्ष’ पुस्तक के विमोचन के दौरान कहा, ”वही सोच बरगद के पेड़ की तरह विकसित हुई और अनुच्छेद 370 को हटाना संभव हो गया। तिवारी ने कहा कि अगर लोग विचार के केंद्र में गहराई से जाएं, तो वे देख सकते हैं कि इस सोच ने न केवल भारत, बल्कि पूरी दुनिया को कैसे प्रभावित किया है।”
तिवारी ने कहा, “आज हम भगवान श्री राम की पूजा कर सकते हैं। एक समय था जब लोगों को तलवारों से और घोड़ों के पैरों के नीचे मार दिया जाता था, उनका धर्म परिवर्तन भी किया जाता था, किसी को बोलने का अधिकार नहीं था। उस समय कौन सोच सकता था कि देश ऐसा करेगा। 500 साल बाद उठो और सभी गलतियों को ठीक करो, आरएसएस उस विचार के मूल में है।