बैतूल संसदीय क्षेत्र के बसपा प्रत्याशी अशोक भलावी का हार्ट अटैक से निधन

मध्यप्रदेश के बैतूल से बड़ी खबर है। बैतूल लोकसभा सीट से बसपा के टिकट पर चुनाव लड़ रहे अशोक भलावी (50) का मंगलवार को हार्ट अटैक से निधन हो गया। सोहागपुर के रहने वाले अशोक को दोपहर में सीने में दर्द हुआ तो परिजन अस्पताल लेकर गए। यहां डॉक्टर ने अशोक को मृत घोषित कर दिया। बसपा प्रत्याशी के निधन के बाद बैतूल सीट पर चुनाव की प्रक्रिया अब नए सिरे से होगी। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी अनुपम राजन ने कहा है कि बैतूल लोकसभा सीट का चुनाव अब आगे बढे़गा। चुनाव आयोग को जानकारी दे दी गई है। आयोग यहां चुनाव और नामांकन के लिए नई तारीख तय करेगा। इसके बाद ही बैतूल में चुनाव होंगे। 

विधानसभा चुनाव में गुरमीत का हुआ था निधन 
राजस्थान के गंगानगर में 2023 के विधानसभा चुनाव के दौरान करणपुर विधानसभा सीट कांग्रेस उम्मीदवार गुरमीत सिंह कुन्नर का विधानसभा चुनाव के बीच निधन हो गया था। जिससे वहां का चुनाव स्थगित करना पड़ा था। 2018 में हुए विधानसभा चुनाव के दौरान बहुजन समाज पार्टी (बसपा) उम्मीदवार लक्ष्मण सिंह की हृदय गति रुकने से मौत हुई थी। जिसे बाद रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र का चुनाव स्थगित कर दिया गया था। 

जानिए क्या कहता है जन प्रतिनिधित्व अधिनियम?
अधिनियम की धारा 52 (2) के अनुसार अगर किसी मान्यता प्राप्त राज्य या राष्ट्रीय पार्टी की ओर से मैदान में उतारे गए उम्मीदवार की मतदान से पहले मृत्यु हो जाती है तो निर्वाचन अधिकारी उस सीट पर मतदान स्थगित कर देता है और नई तारीख की घोषणा बाद में की जाती है।

जानें बैतूल सीट का इतिहास 
बता दें कि बैतूल लोकसभा में विधानसभा 8 सीटें आती हैं। बैतूल सीट पर पहला चुनाव 1951 में हुआ। पहले चुनाव में कांग्रेस को जीत मिली थी। 1967 और 1971 के चुनाव में भी कांग्रेस ने बैतूल सीट जीती। 1977 के चुनाव में भारतीय लोकदल ने बैतूल सीट पर जीत हासिल की। 1980 में कांग्रेस ने वापसी कर फिर यह सीट जीती। 1984 में भी कांग्रेस को जीत मिली। बीजेपी ने पहली बार 1989 में जीत हासिल की। आरिफ बेग ने कांग्रेस के असलम शेरखान को हराकर यहां पर बीजेपी को पहली जीत दिलाई थी। 

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