शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे) ने गुरुवार को अपने मुखपत्र ‘सामना’ में लिखे एक लेख में विधानसभा स्पीकर राहुल नार्वेकर पर निशाना साधा। ‘सामना’ के लेख में लिखा गया कि ‘चोरों के एक गैंग को असली शिवसेना बताया गया। संविधान को कुचला गया।’ दरअसल स्पीकर राहुल नार्वेकर ने बुधवार को एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाली शिवसेना को असली शिवसेना के रूप में मान्यता दी। सामना में भाजपा पर भी निशाना साधा गया है।
‘प्रदेश की जनता माफ नहीं करेगी’
सामना में लिखा गया कि ‘चोरों के गैंग को मान्यता देकर संविधान को कुचला गया। स्पीकर का आदेश पहले से तय था और इसमें कोई हैरानी की बात नहीं है। स्पीकर के विस्तृत फैसले को दिल्ली में उनके बॉस लोगों द्वारा लिखा गया था।’ आरोप लगाया गया कि ‘बाल ठाकरे की शिवसेना को गद्दारों को देने का फैसला, महाराष्ट्र से बेईमानी करने जैसा है। नार्वेकर के पास इतिहास बनाने का मौका था, लेकिन उन्होंने जो फैसला दिया, उससे लोकतंत्र का चेहरा काला हुआ।’ शिवसेना (यूबीटी) ने कहा कि प्रदेश की जनता इसके लिए जिम्मेदार लोगों को माफ नहीं करेगी।
संजय राउत ने निकाला गुस्सा
संजय राउत ने कहा ‘लोगों के मन में गुस्सा है। सुप्रीम कोर्ट ने स्पीकर को न्याय करने की जिम्मेदारी दी थी, लेकिन नार्वेकर ने शिंदे के वकील की तरह बर्ताव किया।’ राउत ने कहा ‘नार्वेकर द्वारा पार्टी के 2018 के संविधान को अस्वीकार करना गलत है क्योंकि यह पहले सुप्रीम कोर्ट में रखा गया था। नार्वेकर ने भाजपा कार्यकर्ता की तरह काम किया ना कि न्यायाधिकरण की तरह। राउत ने कहा कि उनकी पार्टी सुप्रीम कोर्ट जाएगी।’
फैसले पर शिवसेना (यूबीटी) के नेता और पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे ने भी सवाल खड़े किए। मीडिया से बात करते हुए उद्धव ठाकरे ने कहा था कि ‘स्पीकर को विधायकों की अयोग्यता पर फैसला देना था। इसके लिए उनके पास याचिकाएं दाखिल की गईं थी। अगर स्पीकर राहुल नार्वेकर के अनुसार, एकनाथ शिंदे की शिवसेना असली है तो उन्होंने उन्हें (उद्धव गुट) अयोग्य क्यों नहीं ठहराया? एक भी विधायक को अयोग्य नहीं ठहराया गया, यह कोर्ट की अवमानना है।’