हेमंत सोरेन की याचिक पर सुनवाई पूरी, हाईकोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखा

झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री और झामुमो के नेता हेमंत सोरेन की ओर से ईडी की कार्यवाही और अपनी गिरफ्तारी के खिलाफ दायर याचिका पर हाईकोर्ट ने सुनवाई पूरी कर ली है। हाईकोर्ट ने इस मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया है। 

इससे पहले हेमंत सोरेन ने झारखंड विधानसभा के बजट सत्र में शामिल होने की अनुमति को लेकर भी हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इस पर भी उच्च न्यायालय ने फैसला सुरक्षित रखा है। पीएमएलए कोर्ट द्वारा याचिका खारिज होने के बाद सोरेन ने उच्च न्यायालय का रुख किया था।

बिरसा मुंडा जेल में बंद हैं हेमंत सोरेन
सोरेन को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की 13 दिन की हिरासत खत्म होने के बाद 15 फरवरी को बिरसा मुंडा केंद्रीय जेल भेज दिया गया था। कोर्ट ने इससे पहले सोरेन को पांच फरवरी को विधानसभा में विश्वास मत में भाग लेने की अनुमति दी थी।

धनशोधन मामले में न्यायिक हिरासत में रखे गए हैं सोरेन
बता दें कि झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को गुरुवार को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। विशेष पीएमएलए कोर्ट ने कथित भूमि घोटाले से जुड़े धन शोधन के एक मामले में यह फैसला सुनाया था। सत्तारूढ़ झारखंड मुक्ति मोर्चा के कार्यकारी अध्यक्ष ईडी की हिरासत में थे।

पूर्व मुख्यमंत्री की ओर से पेश हुए महाधिवक्ता राजीव रंजन ने बताया था कि हेमंत सोरेन को आज विशेष पीएमएलए अदालत में पेश किया गया और उन्हें 22 फरवरी तक न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। हम उनके लिए जमानत याचिका दायर करेंगे।

सोरेन को अदालत से रांची के होटवार स्थित बिरसा मुंडा केंद्रीय कारागार ले जाया गया। उन्हें 31 जनवरी को ईडी ने गिरफ्तार किया था। इसके बाद 2 फरवरी को कोर्ट ने सोरेन को पांच दिनों की ईडी हिरासत में भेजा  था। इसके बाद से हिरासत की अवधि को कुल मिलाकर सात दिनों के लिए दो बार बढ़ाया गया।

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