सिसोदिया समेत केजरीवाल के छह मंत्री पहुंचे हैं जेल

आम आदमी पार्टी को अब राष्ट्रीय दल का दर्जा मिल चुका है। दिल्ली के अलावा पंजाब में भी ‘आप’ ने भारी बहुमत से सरकार बनाई है। हालांकि समय-समय पर आप सरकार के पांच मंत्री, जेल जा चुके हैं। मनीष सिसोदिया का छठा नंबर है। इसके अलावा लगभग डेढ़ दर्जन विधायक भी जेल गए हैं। वहीं मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन के इस्तीफे के बाद दिल्ली की राजनीति उफान पर है। पार्टी नेताओं का कहना है कि उनके मंत्रियों पर लगे सभी आरोप राजनीति से प्रेरित थे। अधिकांश केसों में आप विधायक, कोर्ट से बरी हो गए थे। डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया से गत वर्ष 17 अक्तूबर को भी सीबीआई ने पूछताछ की थी। तब भी पार्टी नेताओं ने मनीष की गिरफ्तारी की आशंका जताई थी। इससे पहले दिल्ली सरकार में स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन को ईडी ने गिरफ्तार किया था। ईडी ने जैन की लगभग पौने पांच करोड़ रुपये की संपत्ति भी जब्त की है। जेल जाने वाले मंत्रियों में पंजाब के भी एक मंत्री शामिल हैं।

स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन को केजरीवाल के विश्वस्त नेताओं में शामिल किया जाता है। जैन के तिहाड़ जेल में जाने के बावजूद उन्हें पद से नहीं हटाया गया। जैन की बेटी को दिल्ली सरकार के मोहल्ला क्लीनिकों के लिए एडवाइजर नियुक्त करने का मामला भी उछला था। खास बात ये रही कि अरविंद केजरीवाल की ओर से जैन को क्लीन चिट दी गई थी। उन्होंने कई अवसरों पर कहा कि भाजपा राजनीतिक खुन्नस निकालने के लिए आप नेताओं को परेशान करती है। इसके लिए वह जांच एजेंसियों का दुरुपयोग करती है।

‘आप’ की पंजाब सरकार में स्वास्थ्य मंत्री विजय सिंगला भी भ्रष्टाचार के मामले जेल जा चुके हैं। उन पर आरोप लगा था कि उन्होंने स्वास्थ्य महकमे की टेंडर प्रक्रिया में किसी को फायदा पहुंचाने के लिए एक फीसदी कमीशन मांगा था। सीएम भगवंत मान ने तुरंत प्रभाव से उन्हें मंत्रिमंडल से बर्खास्त कर दिया। उन्हें पंजाब की एंटी क्रप्शन ब्रांच ने गिरफ्तार किया था। दिल्ली सरकार में खाद्य आपूर्ति मंत्री रहे आसिम अहमद खान को 2018 में भ्रष्टाचार के मामले में पद छोड़ना पड़ा था। उन पर आरोप था कि उन्होंने छह लाख रुपये की रिश्वत ली है। इस मामले में केजरीवाल ने खुद यह बात स्वीकार की थी कि शिकायतकर्ता ने उन्हें ऑडियो क्लिप भेजी है।

आप सरकार में मंत्री रहे सोमनाथ भारती को भी कई तरह के विवादों में फंसने के कारण इस्तीफा देना पड़ा था। उत्तर प्रदेश के दौरे पर उन्हें गिरफ्तार भी किया गया। उनका घरेलू विवाद भी मीडिया की सुर्खियां बना रहा। आप सरकार में ही कानून मंत्री रहे जितेंद्र सिंह तोमर को 2015 में पद छोड़ना पड़ा था। फर्जी डिग्री मामले में उनकी गिरफ्तारी भी हुई। आप सरकार के एक अन्य मंत्री संदीप कुमार भी सीडी कांड में फंस गए थे। उनके पास महिला एवं बाल कल्याण मंत्रालय था। इस मामले में उन्हें जेल की सलाखों के पीछे जाना पड़ा था।

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