मध्य प्रदेश: पैर फ्रैक्चर होने पर बांध दिया कागज का गत्ता

मध्य प्रदेश के भिंड में एक मरीज के पैर में फ्रैक्चर होने पर प्लास्टर की जगह कागज का गत्ता बांधने का मामला सामने आया है। सड़क हादसे में घायल होने के बाद ये शख्स अस्पताल पहुंचा था। प्रदेश में बदहाल होती स्वास्थ्य सेवाओं पर कांग्रेस ने सरकार पर घेरा है। 

जानकारी के अनुसार मामला भिंड जिले के रौन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र का है। बताया गया कि उत्तर प्रदेश के जालौन का रहने वाला पूरन मामले में पीड़ित है। उसका कहना है कि वह उसके जीजा के साथ मिहोना थाना क्षेत्र में ग्राम अतियनपुरा गांव में बाइक पर सवार होकर कहीं जा रहा था। रास्ते में चार पहिया वाहन ने उनकी बाइक को टक्कर मार दी, जिसकी वजह से बाइक पर सवार पूरन और उसका जीजा घायल हो गए। हादसे में पूरन के पैर में फ्रैक्चर हो गया। उसे और उसके जीजा को रौन सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया, जहां उसे एक इंजेक्शन लगाने के बाद पैर पर गत्ता लगाकर पट्टी कर दी गई और भिंड जिला अस्पताल रेफर कर दिया।  जहां डॉक्टर गत्ता बंधा देखकर हैरान हो गए। फिर आनन-फानन में गत्ता हटाकर प्लास्टर किया गया। 

भिंड सीएमएचओ प्रभारी जेएस राजपूत का मामले में कहना है कि जिन प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में ऑर्थोपेडिक सर्जन नहीं होते, अगर वहां ऐसे अर्जेंट केस आते हैं तो उन्हें प्राथमिक उपचार देकर जिला अस्पताल भेजना होता है। अगर फ्रेक्चर की संभावना लगती है तो वहां सपोर्ट के लिए PoP की पट्टी लगाई जाती है। पीओपी की पट्टी नहीं होने पर कोई सख्त चीज से उसे सपोर्ट दिया जाता है ताकि उसमें कोई मूवमेंट ना हो। अगर ऐसा नहीं किया जाता है तो रास्ते में ज्यादा नुकसान हो सकता है। 

इधर घायल को कागज का गत्ता बांधने के मामला सोशल मीडिया पर आ गया। कांग्रेस के प्रवक्ता नरेंद्र सलूजा ने इसे ट्वीट कर बदहाल स्वास्थ्य सेवाओं पर सवाल उठाए हैं।  

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