मुजफ्फरनगर: किशोर की हत्या के दोषी और युवक की हत्या के दोषियों को उम्रकैद की सजा

मुजफ्फरनगर में शाहपुर थाना क्षेत्र के सोरम गांव में किशोर की हत्या के मामले में दोषी को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई। अपर जिला एवं सत्र न्यायालय संख्या-9 के पीठासीन अधिकारी कनिष्क कुमार सिंह ने फैसला सुनाया। उधर, आठ साल पहले शहर के मीनाक्षी चौक के निकट युवक की हत्या के दो दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है।

सहायक शासकीय अधिवक्ता रेणू शर्मा और सहदेव सिंह ने बताया कि सोरम गांव में नौ सितंबर 2013 को अंकुर (17) को पड़ोसी अजीत ताश खेलने के लिए घर से बुलाकर ले गया था। इसके बाद अंकुर घर नहीं लौटा। इधर-उधर तलाश के बाद अंकुर के पिता वीरसेन ने पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने अंकुर का शव बरामद किया, उसकी धारदार हथियार से काटकर हत्या की गई थी। पुलिस ने अजीत समेत दो आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की।प्रकरण की सुनवाई अपर जिला एवं सत्र न्यायालय संख्या-9 के पीठासीन अधिकारी कनिष्क कुमार सिंह ने की। अभियोजन पक्ष की ओर से आठ गवाह पेश किए गए। दोषी अजीत को आजीवन कारावास और पांच हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई गई है। दूसरे आरोपी के नाबालिग होने पर उसकी पत्रावली अलग कर दी गई थी, जिसे पहले ही सजा सुनाई जा चुकी है।

दंगे के दौरान तंत्र-मंत्र बताई थी वजह
अंकुर की हत्या दंगे के दौरान हुई थी। पहले तंत्र-मंत्र वजह बताई गई, लेकिन इसकी पुष्टि नहीं हो सकी। इसके बाद यह भी शोर मचा था कि दंगे में हत्या हुई है, लेकिन पुलिस जांच में दंगे के दौरान हत्या का मामला साबित नहीं हो सका था।

जिम गए युवक की हत्या के दोषियों को उम्रकैद
मुजफ्फरनगर में आठ साल पहले शहर के मीनाक्षी चौक के निकट युवक की हत्या के दो दोषियों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है। जिला जज विनय कुमार द्विवेदी ने फैसला सुनाया।

डीजीसी फौजदारी राजीव शर्मा और एडीजीसी फौजदारी ललित भारद्वाज ने बताया कि शहर की सिविल लाइन थाना क्षेत्र की जाट कॉलोनी निवासी 18 वर्षीय अक्षय 30 जनवरी 2016 को घर से जिम जाने के लिए निकला था। परिजनों को रात करीब नौ बजे सूचना मिली कि मीनाक्षी चौक के निकट अजमत मार्केट के सामने अक्षय की गोली मारकर हत्या कर दी गई है। परिजन मौके पर पहुंचे। उसके पिता सतीश कुमार ने अंबा विहार निवासी शोएब और लद्दावाला निवासी दानियल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया। पुलिस ने आरोप पत्र दाखिल किया। प्रकरण की सुनवाई जिला जज की कोर्ट में हुई।

दोनों आरोपियों पर दोष सिद्ध हुआ। धारा 302 में आजीवन कारावास और 20-20 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई गई। अर्थदंड नहीं देने पर छह-छह माह का अतिरिक्त कारावास भुगतना होगा। पुलिस जांच में सामने आया था कि अक्षय और शोएब व दानियल के बीच पिस्टल को लेकर विवाद चला आ रहा था। उसी पिस्टल से गोली मारकर अक्षय की हत्या कर दी गई थी।

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