मुजफ्फरनगर: मां ने जन्म देकर मरने के लिए छोड़ा, रात भर मौत से जूझती रही मासूम

मुजफ्फरनगर जनपद के चरथावल में एक झकझोर देने वाली घटना सामने आई। कहते हैं कि जाको राखे साईंया मार सके ना कोय…संत कबीरदास का दोहा कुटेसरा गांव में चरितार्थ हो गया। जन्म के कुछ ही घंटे बाद बेरहम मां ने नवजात बेटी को सड़क किनारे मरने के लिए छोड़ दिया।


रात भर मौत से मुकाबली करती रही मासूम
न्यूनतम तापमान 13.2 डिग्री के बीच बच्ची रातभर मौत से मुकाबला करती रही। उम्मीद का सूरज निकला तो बच्ची को गोद लेने वालों की कतार लग गई। बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष रीना देवी की निगरानी में फिलहाल बच्ची का एक अस्पताल में उपचार चल रहा है।

सफाई कर्मी की नजर पड़ी तो बुलाई पुलिस
रविवार रात एक बिटिया को जन्म देने के बाद सड़क किनारे रख दिया गया। सोमवार तड़के ग्राम प्रधान के घर के पास कर्मचारी सफाई कर रहे थे। उसी दौरान सड़क किनारे उन्हें बच्ची पड़ी दिखाई दी। सूचना पर भीड़ एकत्र हो गई। सफाई कर्मचारियों ने प्रधान और पुलिस को सूचित किया। कुटेसरा चौकी प्रभारी अरुण कुमार ने बच्ची को सुपुर्दगी में लिया। चरथावल सीएचसी पर उसका स्वास्थ्य परीक्षण कराया गया। इस दौरान नवजात बच्ची को गोद लेने के लिए कई दंपती सीएचसी पहुंच गए, लेकिन केंद्र प्रभारी ने देने से इन्कार कर दिया।
सीएचसी प्रभारी डॉ. सतेंद्र कुमार ने बताया कि बच्ची को जिला अस्पताल में पुलिस की निगरानी में भिजवाया गया है। वह पूरी तरह स्वस्थ है। नियमानुसार सीडब्ल्यूसी को सौंपने का प्रावधान है। कई दावेदारों ने बच्ची को लेने का प्रयास किया है, लेकिन गोद की प्रक्रिया बाल कल्याण समिति के नियमों के तहत होती है।

सांस लेने में दिक्कत, हालत सही
बाल कल्याण समिति की अध्यक्ष रीना देवी की निगरानी में नवजात बच्ची का उपचार चल रहा है। उन्होंने बताया कि ठंड लगने के बाद सांस लेने में उसे दिक्कत हुई है। उपचार चल रहा है। तीन महीने तक बच्ची को बालगृह में ही रखा जाएगा।

सीसीटीवी कैमरे खंगाल रही पुलिस
कुटेसरा चौकी प्रभारी गांव में सीसीटीवी फुटेज खंगाल रही है। जिस स्थान से बच्ची बरामद हुई है, वहां कोई कैमरा नहीं है। उस स्थान के आसपास लगे कैमरों में संदिग्ध आरोपी की निगरानी की जा रही है।

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