पंजाब: फर्जी खनन विभाग की टीम का भंडाफोड़

पंजाब पुलिस ने एक ऐसे अंतर्राज्यीय गिरोह का पर्दाफ़ाश किया है, जो अवैध खनन करने वाले माफिया का भी बाप था। बाप इसलिए था कि वह इनसे भी नकली अधिकारी बनकर वसूली कर रहा था। बाकायदा वसूली की पर्ची काट कर देते थे।

इस गिरोह के 6 सदस्यों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है। इनके कब्जे से पुलिस ने एक करोड़ 65 हजार रुपए नगद, 4 महिंद्रा बोलेरो जीप, लैपटॉप, कंप्यूटर, 2 कंप्यूटर कंडे, नोट गिनने वाली मशीन और विभिन्न कंपनियों के 10 मोबाइल फोन बरामद किए हैं।

गिरोह पंजाब में सरकार की नाक के नीचे ही अपनी अलग सरकार चलाए हुए था। इस गिरोह के तार पंजाब, हिमाचल से लेकर उत्तर प्रदेश तक जुड़े हुए हैं। पुलिस सूत्रों के अनुसार, जो रकम बरामद की गई है, यह तो हाल ही में की गई वसूली की रकम है। यह कई 100 करोड़ पंजाब में छाप रहा था।

अपराधियों के बरामद रसीद बुकें और अन्य दस्तावेज
अपराधियों के बरामद रसीद बुकें और अन्य दस्तावेज

पंजाब में सत्ता परिवर्तन के बाद इनकी शिकायत सरकार के पास पहुंची तो पुलिस हरकत में आई।​ ​​​​​​होशियारपुर पुलिस को इस गिरोह के बारे में सूचना मिली कि गिरोह के लोग माइनिंग क्षेत्र वाले हिस्से हाजीपुर वाली की तरफ हैं। पुलिस ने तुरंत अपना जाल बिछाया और सभी को गिरफ्तार कर लिया। गिरफ्तार किए गए 6 लोगों में से 4 उत्तर प्रदेश के हैं, जबकि 2 पंजाब के हैं।

गिरफ्तार किए गए लोगों की पहचान सुरेंद्र सिंह निवासी, हिरनखेड़ी, थाना चांदपुर, यूपी, गौरव तोमर निवासी अलीपुर, यूपी, कुलविंदर निवासी लखपत नगर, बिजनौर, यूपी, नवजिंदर सिंह निवासी शेरपुर, थाना पुरकाजी, जिला मुजफ्फरनगर ,यूपी, राजीव कुमार निवासी ककोवाल, थाना गढ़शंकर, जिला होशियारपुर, जगदीप सिंह निवासी कंडीला, थाना घुमान, जिला गुरदासपुर के रूप में हुई है। पुलिस इन्हें कोर्ट में पेश करके रिमांड लेगी। पुलिस अधिकारियों का दावा है कि इसमें बहुत बड़ा स्कैम निकलने की संभावना है।

रसीद बुक जिसमें से वसूली की बाकायदा पर्ची काटकर देते थे।
रसीद बुक जिसमें से वसूली की बाकायदा पर्ची काटकर देते थे।

पुलिस की लंबी पूछताछ तथा पड़ताल के उपरांत पता चला है कि यह गिरोह पंजाब में जिला होशियारपुर, शहीद भगत सिंह नगर, रोपड़, पठानकोट, फिल्लौर तथा हिमाचल-प्रदेश में काफी सक्रिय था। यह अवैध माइनिंग करके ले जा रहे ट्रक वालों को रोकते थे। उन्हें डराते-धमकाते थे। उनसे अपनी पहचान माइनिंग तथा पुलिस विभाग की टीम बताकर पैसे वसूलते थे। पैसे लेने की बाकायदा पर्ची तक काटकर देते थे।

यहां तक कि कितनी गाड़ियों से वसूली की, इसकी प्रिंटेड सूची भी तैयार करते थे। इससे शक होता है कि इस गिरोह के पीछे राजनीतिक दलों का भी हाथ था। तभी यह इतने दिनों से वसूली कर रहे थे और इन पर किसी ने हाथ नहीं डाला। अब सत्ता परिवर्तन के साथ ही पुलिस के हत्थे चढ़ गए।

गिरोह के सदस्यों से बरामद गाड़ी।
गिरोह के सदस्यों से बरामद गाड़ी।

होशियारपुर के पुलिस प्रमुख ध्रुमन एच निंबाले ने बताया कि हाजीपुर में पकड़ा गया गिरोह माइनिंग विभाग के नाम पर ट्रक वालों से पैसे वसूलता था। पकड़े गए लोग सबको अपनी पहचान माइनिंग तथा पुलिस विभाग के अधिकारियों के तौर पर बताते थे। शिकायत जब उनके पास आई और सूचना मिली कि गिरोह के सदस्य माइनिंग वाले क्षेत्र हाजीपुर में सक्रिय हैं तो एसपी, डीएसपी स्तर के अधिकारियों के नेतृत्व में एक टीम बनाई गई।

पूरा जाल बिछाकर इन्हें पकड़ा गया। टीम ने अनमोल नगर से अपराधियों को गिरफ्तार किया। एसएसपी ने बताया कि इनसे 1 करोड़ 65 हजार रुपए, 4 जीप, लैपटॉप, कंप्यूटर, 2 कंप्यूटर कंडा, नोट गिनने वाली मशीन, फर्जी दस्तावेज, भारी मात्रा में फर्जी रसीद बुक, 10 महंगे मोबाइल विभिन्न कंपनियों के बरामद हुए हैं।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here