शिंदे ने नहीं छोड़ा टेंपो का मोह

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के पास कहने को तो बड़ी-बड़ी गाड़ियां हैं। लेकिन एकनाथ शिंदे का मुफलिसी के दिनों में मुंबई की गलियों में जिस टेंपो को चलाकर गुजारा होता था, वह आज भी मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की गाड़ियों के काफिले में तैनात है। बकायदा एकनाथ शिंदे ने चुनाव आयोग में दिए गए एफिडेविट में इस बात का जिक्र किया है कि उनके पास गाड़ियों के काफिले के साथ उनका टेंपो भी बरकरार है। हालांकि यह टेंपो उनकी पत्नी के नाम है, लेकिन उनके घर के गैराज की शोभा बढ़ाता है। घर में महंगी गाड़ियों के बीच में टेंपो से प्यार एकनाथ शिंदे को जमीन का नेता बनाता है। ठाणे की गलियों में एकनाथ शिंदे की ऐसी अनगिनत कहानियां बिखरी हुई हैं, जिसे अब लोग उनके मुख्यमंत्री बनने के बाद जुबान पर ला रहे हैं।

शपथपत्र में किया जिक्र

मुफलिसी के दौर में एकनाथ शिंदे के पास रोजी-रोटी का जब कोई जरिया नहीं था, तो वह टेंपो चला कर अपने परिवार का जीवन यापन करते थे। महाराष्ट्र शिवसेना से जुड़े नेता राजकदम धुले कहते हैं कि आज भी महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और कद्दावर नेता एकनाथ शिंदे की गाड़ियों के बीच में टेंपो अभी भी है। वे कहते हैं कि यह टेंपो बताता है कि नेता का जमीन से कितना जुड़ाव है। 2019 में हुए विधानसभा चुनाव में चुनाव आयोग को दिए गए अपने शपथपत्र में एकनाथ शिंदे ने अपनी पत्नी के नाम पर टेंपो के साथ एक महिंद्रा अरमाडा ग्रैंड गाड़ी का भी जिक्र किया है। जबकि खुद के नाम पर इनोवा से लेकर स्कॉर्पियो जैसी गाड़ियां हैं। धुले कहते हैं कि एकनाथ शिंदे महाराष्ट्र के एक ऐसे नेता हैं, जो आज भी उन गलियों में जाते हैं जहां पर उनका मुफलिसी का जीवन गुजरा। इलाके के लोगो उन्हें एकनाथ शिंदे नहीं बल्कि “नेकनाथ शिंदे” के नाम से ज्यादा पुकारते हैं।

ऑक्सीजन मैन के नाम से हैं प्रसिद्ध

ठाणे शिवसेना के संभाग प्रमुख बलराव भिड़े का कहना है महाराष्ट्र के नए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे आज भी अपने उन दो बच्चों की याद में खाने का पहला निवाला निकालते हैं, जिनकी नदी में डूब कर मौत हो गई थी। भिड़े कहते हैं कि राजनीतिक पारी में मोहल्ले के नेता से लेकर पार्षद और उसके बाद विधायक, मंत्री से लेकर मुख्यमंत्री तक का सफर करने वाले एकनाथ शिंदे लोगों के दर्द को कितना समझते हैं, इसका अंदाजा कोविड के दौरान लोगों को हुआ था। एकनाथ शिंदे को लोग ऑक्सीजन मैन के नाम से जानने लगे थे। सांसद बेटे के साथ मिलकर गरीबों के मुफ्त इलाज और उनकी जांच के लिए चलाए जाने वाले चिकित्सा अभियान ठाणे और आसपास के लोगों के लिए नई जिंदगी देने वाला है। भिड़े कहते हैं अब यह अभियान पूरे महाराष्ट्र में चलेगा।

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