बिहार: किशनगंज के स्कूलों में इस्लामिक प्रथाएं थोपने का खुलासा, जुम्मे पर हो रही छुट्टी

हाल ही में झारखंड के कई जिलों के स्कूलों का इस्लामीकरण किए जाने के मामले सामने आए थे। जिसके बाद आनन-फानन में राज्य सरकार से लेकर केंद्रीय एजेंसियों तक हडकंप मच गया था। अब ऐसे ही मामले बिहार में भी सामने आ रहे हैं। यहां हालिया चर्चित पॉपुलर फ्रंट (PFI) की गजवा-ए-हिंद साजिश के बाद अब किशनगंज के स्कूलों में इस्लामिक प्रथाएं थोपने का खुलासा हुआ है। इससे अधिकारियों और राज्य की सियासत में खलबली मच गई। 

पांच ब्लॉकों में 37 स्कूल शुक्रवार को रहते हैं बंद

बिहार सरकार के शिक्षा विभाग के अधिकारियों ने मंगलवार को जानकारी दी कि बिहार के किशनगंज जिले के पांच ब्लॉकों में 37 सरकारी स्कूलों में रविवार के बजाय शुक्रवार को साप्ताहिक अवकाश के रूप में दिया जा रहा है। अधिकारियों की ओर से दी गई जानकारी के अनुसार, किशनगंज जिले के पोठिया प्रखंड में 16 स्कूल शुक्रवार को बंद रहते हैं। जबकि अधिकृत साप्ताहिक अवकाश यानी रविवार के दिन खुले रहते हैं। अधिकारी ने बताया कि पूरे जिले के 37 स्कूल शुक्रवार को बंद रहते हैं और यह बहुत लंबे समय से चल रहा है।

सरकारी आदेश है या नहीं, हमें जानकारी नहीं

अधिकारी ने कहा कि 1990 से पहले, किशनगंज पूर्णिया जिले का एक उप-मंडल था। शुक्रवार को स्कूलों को बंद रखने का निर्देश तत्कालीन पूर्णिया जिले के एक अधिकारी ने जारी किया था, जिसकी जांच की जा रही है। हालांकि, उन्होंने कहा कि इसमें कुछ भी असामान्य नहीं है। वहीं, कर्बला के एक मिडिल स्कूल के प्रधानाध्यापक मुहम्मद वसीम ने कहा कि अतीत में स्कूल में शुक्रवार को छुट्टी होती थी, इस संबंध में कोई सरकारी आदेश है या नहीं, हमें इसकी जानकारी भी नहीं है। 

हिंदू समुदाय ने इसे लेकर जाहिर की नाराजगी

हालांकि, हिंदू समुदाय के कुछ सदस्यों ने इसे लेकर नाराजगी जाहिर की है। उनका कहना है कि इस बदलाव के कारण, रविवार को स्कूल जाने वाले शिक्षक अपने परिवार और बच्चों को समय नहीं दे पाते हैं। इससे पहले जुलाई में रिपोर्टों में दावा किया गया है कि झारखंड के जामताड़ा और दुमका में, स्कूल रविवार की जगह शुक्रवार को साप्ताहिक में अवकाश बदल चुके थे। इस मामले ने देश भर में काफी तूल पकड़ा था।  

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