ब्रिक्स सम्मेलन: बातचीत से सुलझाया जाए यूक्रेन मामला

चीन में हो रहे ब्रिक्स सम्मेलन में आज घोषणापत्र जारी किया गा। इसमें खास तौर पर रूस-यूक्रेन युद्ध का भी जिक्र करते हुए बातचीत से मामला सुलझाने पर जोर दिया गया है। इसमें कहा गया है, हम सभी राज्यों की संप्रभुता, क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। मतभेदों, विवादों के शांतिपूर्ण समाधान के लिए अपनी प्रतिबद्धता पर जोर देते हैं। 

घोषणापत्र में कहा गया है कि ब्रिक्स देश रूस और यूक्रेन के बीच वार्ता का समर्थन करते हैं। अफगानिस्तान के मुद्दे पर कहा गया है कि हम इसकी संप्रभुता, स्वतंत्रता, क्षेत्रीय अखंडता के सम्मान पर जोर देते हुए एक शांतिपूर्ण, सुरक्षित और स्थिर अफगानिस्तान का पुरजोर समर्थन करते हैं। किसी भी देश को धमकाने या हमला करने या आतंकवादियों को पनाह देने या प्रशिक्षित करने के लिए अफगान क्षेत्र का इस्तेमाल नहीं किया जाना चाहिए। 

ऑनलाइन शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग, रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन, ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोल्सोनारो और दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामाफोसा ने हिस्सा लिया।

घोषणापत्र में कहा गया कि हम सभी देशों की संप्रभुता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। संवाद और परामर्श के माध्यम से देशों के बीच मतभेदों और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान के लिए भी अपनी प्रतिबद्धता पर बल देते हैं। संकट के शांतिपूर्ण समाधान के लिए सभी अनुकूल प्रयासों का समर्थन करते हैं। पूर्वी लद्दाख में चीन और भारत के बीच जारी गतिरोध और यूक्रेन पर रूसी हमले के मद्देनजर मतभेदों और विवादों के शांतिपूर्ण समाधान का संदर्भ महत्वपूर्ण है।

घोषणापत्र में कहा गया कि हमने यूक्रेन की स्थिति पर चर्चा की और यूएनएससी तथा यूएनजीए जैसे उपयुक्त मंचों पर व्यक्त की गई अपनी राष्ट्रीय रुख को दोहराया। हम रूस और यूक्रेन के बीच वार्ता का समर्थन करते हैं। ब्रिक्स ने कहा कि वह अफगानिस्तान की संप्रभुता, स्वतंत्रता और क्षेत्रीय अखंडता का सम्मान करने की आवश्यकता पर बल देते हुए एक शांतिपूर्ण, सुरक्षित और स्थिर अफगानिस्तान का पुरजोर समर्थन करता है।

चीन के राष्ट्रपति ने एकपक्षीय प्रतिबंधों का दुरूपयोग रोकने की अपील की
इस बीच चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने कहा कि ‘ब्रिक्स’ ने मौजूदा वैश्विक संकट में मुश्किलों से उबरने की क्षमता और ऊर्जा दिखाई है। साथ ही उन्होंने संभवत: अमेरिका पर कटाक्ष करते हुए पांच सदस्यीय समूह से एकपक्षीय प्रतिबंधों के दुरूपयोग का विरोध करने की अपील की। शी ने वीडियो लिंक के जरिये 14वें ब्रिक्स सम्मेलन के उद्घाटन भाषण में कहा कि पिछले साल विश्व द्वारा कोविड-19 महामारी के प्रसार, विश्व अर्थव्यस्था के उबरने में मशक्कत करने और शांति एवं सुरक्षा के मुद्दों का सामना करना जारी रहा।

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