नई दिल्ली। केंद्र सरकार जल्द ही देशभर के सरकारी कर्मचारियों और पेंशनभोगियों के लिए बड़ी घोषणा कर सकती है। सूत्रों के मुताबिक, अगले सप्ताह 8वें वेतन आयोग (8th Pay Commission) के गठन की औपचारिक घोषणा की जा सकती है। यह कदम बिहार विधानसभा चुनाव से पहले और कैबिनेट की मंजूरी के करीब दस महीने बाद उठाया जा रहा है।
जानकारी के अनुसार, यह आयोग लगभग 1.18 करोड़ केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनधारकों के वेतन व पेंशन ढांचे में बदलाव की सिफारिश करेगा। सरकार ने आयोग के कार्य-क्षेत्र (Terms of Reference), अध्यक्ष और सदस्यों के नाम तय कर लिए हैं। आयोग हर दस साल में वेतन एवं पेंशन पुनरीक्षण की प्रक्रिया की समीक्षा और सिफारिश करता है।
हालांकि, इस बार आयोग का गठन पिछली बार की तुलना में लगभग एक साल की देरी से हो रहा है। आयोग को रिपोर्ट तैयार करने में 6 से 12 महीने का समय लगने की संभावना है, जबकि इसकी सिफारिशें 1 जनवरी 2026 से प्रभावी मानी जाएंगी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 16 जनवरी 2025 को दिल्ली विधानसभा चुनावों से पहले आयोग के गठन को मंजूरी दी थी। इस प्रक्रिया में केंद्र ने राज्य सरकारों और सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों (PSUs) से भी सुझाव लिए हैं।
कर्मचारियों को मिलेगा लाभ, सरकार पर बढ़ेगा वित्तीय बोझ
वेतन आयोग की सिफारिशें लागू होने पर कर्मचारियों के वेतन में बढ़ोतरी होती है, जिससे बाजार में खपत बढ़ती है। हालांकि, इससे केंद्र और राज्य सरकारों के साथ-साथ सार्वजनिक उपक्रमों पर भारी वित्तीय दबाव भी पड़ता है। आयोग की सिफारिशें केंद्र के लिए बाध्यकारी नहीं होतीं, लेकिन अधिकांश मामलों में उन्हें कुछ संशोधनों के साथ स्वीकार किया जाता है।
7वें वेतन आयोग से मिला था बड़ा फायदा
7वां वेतन आयोग 28 फरवरी 2014 को गठित हुआ था और इसकी सिफारिशें 1 जनवरी 2016 से लागू की गईं। इसके तहत वेतन और पेंशन में 23.55% की बढ़ोतरी की गई, जिससे सरकार पर सालाना 1.02 लाख करोड़ रुपये (GDP का 0.65%) का अतिरिक्त बोझ पड़ा।
अर्थव्यवस्था पर असर और भविष्य की योजना
8वें वेतन आयोग की सिफारिशें आने वाले मीडियम-टर्म फिस्कल रोडमैप और 16वें वित्त आयोग की रिपोर्ट में भी शामिल की जाएंगी। 16वां वित्त आयोग 2027-2031 की अवधि के लिए राज्यों को कर हिस्सेदारी और अनुदान तय करेगा। इसका लाभ राज्य सरकारों के लाखों कर्मचारियों तक पहुंचेगा, क्योंकि वेतन संशोधन के मामले में वे आमतौर पर केंद्र सरकार के आयोग का अनुसरण करते हैं।