नेपाल की नई अंतरिम प्रधानमंत्री सुशीला कार्की ने रविवार सुबह 11 बजे सिंह दरबार पहुंचकर औपचारिक रूप से पदभार ग्रहण किया। पूर्व मुख्य न्यायाधीश कार्की को शुक्रवार देर रात अंतरिम सरकार का नेतृत्व सौंपा गया था। उम्मीद जताई जा रही है कि वह जल्द ही अपने मंत्रिमंडल का विस्तार करेंगी और फिलहाल सहयोगियों के साथ संभावित नामों पर विचार-विमर्श कर रही हैं। शुरुआती मंत्रिमंडल सीमित आकार का होने की संभावना है।
सूत्रों के मुताबिक, कार्की गृह, विदेश और रक्षा समेत करीब दो दर्जन मंत्रालय अपने पास रख सकती हैं, जबकि लगभग 15 मंत्रियों को शामिल कर एक व्यवस्थित कैबिनेट बनाने का इरादा रखती हैं। काठमांडू पोस्ट की रिपोर्ट में बताया गया है कि उनके करीबी सहयोगियों और जेनरेशन-जी आंदोलन से जुड़े सलाहकारों से लगातार परामर्श चल रहा है।
मंत्री पदों के लिए कानूनी विशेषज्ञ ओम प्रकाश आर्यल, पूर्व सेना अधिकारी बालानंद शर्मा, सेवानिवृत्त न्यायमूर्ति आनंद मोहन भट्टाराई, ऊर्जा विशेषज्ञ कुलमान घीसिंग और चिकित्सा क्षेत्र से डॉ. भगवान कोइराला, डॉ. संदुक रुइत जैसे नामों पर विचार किया जा रहा है। बताया जा रहा है कि जेनरेशन-जी के सदस्य इस प्रक्रिया में ऑनलाइन वोटिंग के जरिए भी राय ले रहे हैं। यदि सहमति बनती है, तो मंत्रिमंडल रविवार शाम या सोमवार तक शपथ ले सकता है।
इसी बीच, राष्ट्रपति रामचंद्र पौडेल ने अंतरिम प्रधानमंत्री की सिफारिश पर प्रतिनिधि सभा को भंग कर दिया है। नए आम चुनाव 5 मार्च 2026 को कराए जाएंगे।
दूसरी ओर, आठ सितंबर से बंद पड़े स्कूल सोमवार से फिर खुलेंगे। रविवार को शिक्षकों और कर्मचारियों को स्कूल में प्रशासनिक कामकाज और नुकसान के आकलन के लिए बुलाया गया है।
कई दिनों की अशांति के बाद अब नेपाल में स्थिति सामान्य होने लगी है। कर्फ्यू और प्रतिबंध हटने के बाद दुकानों, बाजारों और सार्वजनिक परिवहन ने कामकाज शुरू कर दिया है। हालांकि कुछ संवेदनशील क्षेत्रों में एहतियाती प्रतिबंध जारी रहेंगे। हाल ही में हुए प्रदर्शनों में 51 लोगों की मौत और सरकारी भवनों को भारी नुकसान हुआ था, जिसके बाद तत्कालीन प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली और उनके मंत्रियों को पद छोड़ना पड़ा था।